वसुधा केंद्रों पर ही बनेगा वोटर आइ कार्ड
बेगूसराय/नीमाचांदपुरा : सब कुछ ठीक-ठाक रहा, तो जल्द ही लोगों को पंचायत स्तर पर खोले गये वसुधा केंद्रों अर्थात सीएससी सेंटर पर इपिक (मतदाता पहचान पत्र)बनाने की सुविधा उपलब्ध होगी. इतना ही नहीं अब मतदाता सूची में नाम जोड़वाने एवं हटवाने के लिए ऑन लाइन आवेदन करने के साथ-साथ डुप्लीकेट कार्ड बनवाने आदि सुविधा भी […]
बेगूसराय/नीमाचांदपुरा : सब कुछ ठीक-ठाक रहा, तो जल्द ही लोगों को पंचायत स्तर पर खोले गये वसुधा केंद्रों अर्थात सीएससी सेंटर पर इपिक (मतदाता पहचान पत्र)बनाने की सुविधा उपलब्ध होगी. इतना ही नहीं अब मतदाता सूची में नाम जोड़वाने एवं हटवाने के लिए ऑन लाइन आवेदन करने के साथ-साथ डुप्लीकेट कार्ड बनवाने आदि सुविधा भी मिलेगी. इसको लेकर अपना सीएससी पोर्टल के माध्यम से चुनाव आयोग के पोर्टल पर सभी वसुधा केंद्रों को इ-सर्विस के द्वारा जोड़ा गया है.
कयास लगाया जा रहा है नववर्ष पर लोगों को इस तरह की सुविधाएं वसुधा केंद्रों पर तोहफे के रू प में उपलब्ध होगी. स्थिति ऐसी हो चुकी है कि कल तक जिस वसुधा केंद्रों पर ताला लटका हुआ देखा जा रहा था. आज की तारीख में रंगाई और पुताई कार्य परवान पर है.
सभी सुविधाएं होंगी उपलब्ध
अपना सीएससी के पोर्टल पर ऑनलाइन खाता खोलने, पासपोर्ट बनवाने के लिए आवेदन करने, आय, आवासीय, जाति प्रमाणपत्र बनवाने के लिए आवेदन करने, रेलवे टिकट, नेशनल पेंशन सिस्टम यानी एनपीएस के तहत प्राण कार्ड बनवाने की सुविधा उपलब्ध होगी. बिहार चुनाव आयोग के निर्देशानुसार लोगों को नये मतदाता पत्र बनवाने के लिए 30, मतदाता सूची में नाम खोजने के लिए दो, ऑन लाइन आवेदन करने के लिए 10, अपने स्टेटस जानने के लिए दो, वोटर लिस्ट का एक पेज के लिए तीन और शिकायत दर्ज करने के लिए मात्र 10 रुपये शुल्क भुगतान करना निर्धारित किया गया है.
पंचायत स्तर पर खोले गये हैं सीएससी
बताया जाता है कि जिले के हर पंचायत स्तर पर एक वसुधा केंद्र खोलने का लक्ष्य रखा गया है. जानकारी के अनुसार वसुधा केंद्रों की संख्या 220 है.
वर्ष 2007-08 में इन केंद्रों को खोलने में संचालकों को सिक्यूरिटी मनी 30 हजार व 90 हजार रुपये ऋण लेकर विभाग को जमा करना पड़ा था. परंतु अब तक किसी प्रकार की सुविधा नहीं मिलने से संचालक अपने ठगा महसूस कर रहे थे. इपिक बनाने की सुविधा की जानकारी मिलते ही लोगों के चेहरे खिल उठे हैं.
क्या कहते हैं लोग
अब वसुधा केंद्र के दिन बहुरनेवाले हैं. देर से ही सही अच्छी सुविधा मिलने जा रही है. इपिक बनवाने में लोगों से अब परेशानी का सामना करना नहीं पड़ेगा. जनता के हित में यह प्रयास सराहनीय कदम है.
मंजेश कुमार
संचालक, वसुधा केंद्र, जिनेदपुर
इपिक बनवाने की सुविधा को नये साल की तोहफा के रू प में माना जा रहा है. वर्षो से जिसका इंतजार था. अब पूरा होते दिख रहा है. नेशनल पेंशन सिस्टम के प्राण कार्ड बुजुर्गो के लिए मील का पत्थर साबित होगा.
वीरेश कुमार
संचालक, वसुधा केंद्र संचालक, जिनेदपुर
अब तक वसुधा केंद्रों को हाथी का दांत कहा जाता था. पर अब इपिक बनवाने की सुविधा वसुधा केंद्रों पर मिलने जा रही है. इससे आमलोगों को प्रखंड कार्यालय व बीएलओ के आगे-पीछे करने से मुक्ति मिलेगी. हाइटेक होते जमाने में गांवों में इंटरनेट का लाभ उठायेंगे.
रामचंद्र कुमार
ग्रामीण
कुछ वसुधा केंद्रों पर नेशनल पेंशन सिस्टम के तहत प्राण कार्ड बनाये जा रहे हैं. सभी तरह का बीमा किया जा रहा है. प्रमाणपत्रों के लिए ऑन लाइन आवेदन की सुविधा मिल रही है. इपिक बनवाने की सुविधा मिलने से लोगों को घर बैठे पहचानपत्र पाने में सहूलियत होगी.
गौतम कुमार
अंझौर नवयुवक संघ