Bengal Election: BJP के खिलाफ ममता और तेजस्वी ने मिलाया हाथ, अब बंगाल चुनाव में RJD का प्रत्याशी होगा या नहीं ? जानिए
Bengal Election: भाजपा (BJP) को बंगाल में सत्ता से दूर रखने के लिए मुख्यमंत्री व टीएमसी (TMC) नेता ममता बनर्जी और राजद (RJD) नेता तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) ने हाथ मिला लिया है. तृणमूल और राजद के नेता विधानसभा चुनाव के मद्देनजर संयुक्त चुनाव प्रचार करेंगे. बिहार राजद के शीर्ष नेता वहां पहुंचेंगे.
Bengal ELection: भाजपा (BJP) को बंगाल में सत्ता से दूर रखने के लिए मुख्यमंत्री व टीएमसी (TMC) नेता ममता बनर्जी और राजद (RJD) नेता तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) ने हाथ मिला लिया है. तृणमूल और राजद के नेता विधानसभा चुनाव के मद्देनजर संयुक्त चुनाव प्रचार करेंगे. बिहार राजद के शीर्ष नेता वहां पहुंचेंगे.
जानकारों के मुताबिक राजद चुनाव लड़ेगी. हालांकि वह चुनाव कहां से लड़ेगी, इसकी जिम्मेदारी ममता बनर्जी पर डाल दी गयी है. नेता ममता बनर्जी एवं राजद नेता तेजस्वी से सोमवार को पश्चिमी बंगाल के मुख्यमंत्री सचिवालय नवान्न भवन में दोनों नेताओं की औपचारिक मुलाकात हुई. करीब दो घंटे चली इस मुलाकात के बाद विधानसभा चुनाव के मद्देनजर इस आशय के निर्णय लिये गये.
पार्टी के आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि राजद पश्चिमी बंगाल के विधानसभा चुनाव में भाजपा को पराजित करने के लिए प्रतिबद्ध है. लिहाजा भाजपा प्रत्याशियों को हराने के लिए राजद तृणमूल के समर्थन में उतरा है. नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने अपनी इस मुलाकात के संदर्भ में अपने ऑफिशियल ट्विटर हैंडल पर भी लिखा है.
लिखा है कि केंद्र सरकार निरंतर देश के संघीय ढांचे और संवैधानिक संस्थाओं पर प्रहार कर रही है. केंद्र सरकार जन कल्याणकारी कार्यों को छोड़कर विभिन्न राज्यों में चुनाव लड़ने में अधिक व्यस्त है. विधानसभा चुनावों में भारत सरकार और उसकी मंत्रिपरिषद की इस प्रकार की सक्रियता पहले कभी भी नहीं देखी गयी. उन्होंने साफ किया कि राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद का स्पष्ट मानना है कि विपक्ष के लिए यह समय देश के लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा, विचारधारा की प्रतिबद्धता तथा सिद्धांतों की स्थिर राजनीति का है.
Tejashwi Yadav News: ममता के भतीजे से भी की मुलाकात
तेजस्वी ने यह भी बताया कि सोमवार को उनकी मुलाकात युवा तृणमूल नेता अभिषेक बनर्जी से भी हुई है. बताया कि हम लोगों ने माना कि यह वक्त जन तंत्र हित में स्वतंत्रता, समानता, क्षेत्रीय संस्कृति, सांस्कृतिक पहचान आदि के संवैधानिक मूल्यों को बचाने का है.
Posted By: Utpal kant