बगहा में टीकाकरण के बाद डेढ़ दर्जन बच्चे बीमार, एक की मौत

बगहा: टीकाकरण के बाद 18 बच्चे बीमार हो गये. एक डेढ़ माह के नवजात बच्चे की मौत हो गयी. घटना प्रखंड बगहा दो जिमरी नौतनवा पंचायत के मैनहा गांव की है. शुक्रवार को आंगनबाड़ी केंद्र पर पीएचसी बगहा दो की एएनएम ने सभी बच्चों को टीका दिया था. टीका देने के कुछ घंटे बाद ही सभी बच्चों की स्थिति बिगड़ने लगी. इसमें नौ किशोरियां शामिल हैं. इस दौरान श्याम महतो के डेढ़ माह के पुत्र की स्थिति काफी गंभीर हो गयी. उसकी मौत हो गयी.

By Prabhat Khabar News Desk | August 30, 2020 8:13 AM
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बगहा: टीकाकरण के बाद 18 बच्चे बीमार हो गये. एक डेढ़ माह के नवजात बच्चे की मौत हो गयी. घटना प्रखंड बगहा दो जिमरी नौतनवा पंचायत के मैनहा गांव की है. शुक्रवार को आंगनबाड़ी केंद्र पर पीएचसी बगहा दो की एएनएम ने सभी बच्चों को टीका दिया था. टीका देने के कुछ घंटे बाद ही सभी बच्चों की स्थिति बिगड़ने लगी. इसमें नौ किशोरियां शामिल हैं. इस दौरान श्याम महतो के डेढ़ माह के पुत्र की स्थिति काफी गंभीर हो गयी. उसकी मौत हो गयी.

बाद में ग्रामीणों ने इसकी सूचना पीएचसी प्रभारी को दी. इसके बाद पीएचसी प्रशासन हरकत में आया. 11 बजे रात को पीएचसी स्तर पर एंबुलेंस भेज बीमार सभी बच्चों को अनुमंडलीय अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया. अनुमंडलीय अस्पताल के चिकित्सक डा. सुनील कुमार का कहना है कि फिलहाल सभी बच्चों की स्थिति सामान्य हो रही है. उन्होंने बताया कि सभी का इलाज जारी है. वहीं इस घटना के बाद ग्रामीणों में स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही के प्रति रोष व्याप्त है. इस घटना के बाद पूरे गांव में भय का माहौल है.

एंबुलेंस के लिए ग्रामीणों को करनी पड़ी मशक्कत : मैनहा गांव में टीकाकरण के बाद बीमार पड़े बच्चों को इलाज के लिए अस्पताल लाने में परिजनों व ग्रामीणों को काफी मशक्कत का सामना करना पड़ा. परिजन गौरीशंकर महतो, गंगासागर काजी, धर्मनाथ काजी का कहना है कि बच्चे बीमार पड़ने लगे. इसकी सूचना ट्रोल फ्री नंबर पर दी गयी. इसके बाद भी उन्हें एंबुलेंस उपलब्ध नहीं हो सका. ऐसे में बच्चों की स्थिति बिगड़ते देख ग्रामीण आपसी सहयोग से प्राइवेट गाड़ी के सहारे कुछ बच्चों को इलाज के लिए अनुमंडलीय अस्पताल में ले गये. अस्पताल पहुंचने के बाद हो हल्ला हुआ. इसके बाद एंबुलेंस कर्मियों की नींद खुली व करीब 11 बजे रात को ग्रामीणों को एंबुलेंस की सेवा मिल सकी. इससे बीमार बच्चों को इलाज के लिए अनुमंडलीय अस्पताल लाया गया. एंबुलेंस कर्मियों के उदासीन रवैये को लेकर ग्रामीणों में रोष है. उन्होंने मामले की जांच कर कार्रवाई की मांग की है.

दोषी कर्मी पर होगी विभागीय कार्रवाई : शहरी पीएचसी प्रभारी डा. राजेश सिंह नीरज का कहना है कि घटना की सूचना मिलने के बाद टीम गठित कर मामले की जांच की जा रही है. उन्होंने बताया कि जांच में दोषी पाये जाने वाले कर्मी पर विभागीय कार्रवाई की जायेगी. समुचित इलाज की व्यवस्था:एसडीएम शेखर आनंद का कहना है कि घटना उनके संज्ञान में भी है. प्राथमिकता के आधार पर बीमार बच्चों को समुचित इलाज की व्यवस्था की जा रही है. साथ ही इस मामले की जांच की जा रही है.

क्या कहते हैं शिशु रोग विशेषज्ञ:अनुमंडलीय अस्पताल में पदस्थापित शिशु रोग विशेषज्ञ डा. सुनील कुमार का कहना है कि जिन बच्चों को टीका दिया गया है और बीमार हुए हैं, हो सकता है कि उन्हें पूर्व में भी कोई बीमारी हो. जिसे परिजनों को आशा से छुपाया गया हो. बीमार ग्रस्त बच्चों को टीका देने के बाद उनकी स्थिति बिगड़ जाती है. टीका के बाद बच्चों को पारासीटामोल की दवा दी जाती है. परिजनों द्वारा बताया गया कि एएनएम ने उन्हें पारासिटामोल की दवा नहीं दी. न ही इसकी सलाह दी गयी.

posted by ashish jha

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