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मां और दो बेटियों के हत्यारे को फांसी की सजा, संपत्ति हड़पने को बनाया अवैध संबंध

भागलपुर : विधवा मां के साथ घर में दो बेटियोंकी धारदार हथियार से गला रेतकर हत्या करना एक जघन्य अपराध है. यह विरल से विरलतम अपराध की श्रेणी में आता है. विधवा के तीन छोटे बच्चों में से उसका बेटा घटना के वक्ता कहीं और था, इस कारण वह बच गया. दोषी का उद्देश्य सभी […]

भागलपुर : विधवा मां के साथ घर में दो बेटियोंकी धारदार हथियार से गला रेतकर हत्या करना एक जघन्य अपराध है. यह विरल से विरलतम अपराध की श्रेणी में आता है. विधवा के तीन छोटे बच्चों में से उसका बेटा घटना के वक्ता कहीं और था, इस कारण वह बच गया. दोषी का उद्देश्य सभी की हत्या करके विधवा की संपत्ति को हड़पना था. यह गंभीर टिप्पणी पंचम अपर सत्र न्यायाधीश दीपांकर पाण्डेय ने मंगलवार को 23 जून 2015 को हुए तिहरे हत्याकांड की घटना को लेकर फैसला में दी.

कोर्ट ने आदेश दिया कि विधवा की संपत्ति हड़पने के लिये तीन-तीन हत्या करने के आरोपित निरंजन कुमार साह उर्फ अलखदेव को फांसी की सजा दी जाये. उन्हें फांसी पर तब तक लटकाया जाये, जब तक उनकी मौत न हो जाये. कोर्ट के आदेश की कॉपी पटना हाइकोर्ट में मंजूरी के लिये भेजी जायेगी. पूर्व में घटना के अन्य आरोपित उसके भाई वीरेंद्र कुमार को रिहा कर दिया गया था. सरकार की ओर से मामले में लोक अभियोजन सत्यनारायण प्रसाद साह व अधिवक्ता पुरुषोत्तम कुमार तथा बचाव पक्ष से रामनिवास छपोलिका ने पैरवी की. इस मामले में 11 की गवाही हुई थी, इसमें अधिकतर गांव में हत्या को लेकर पुष्टि की. पिछले दिनों हाइकोर्ट ने मामले में संज्ञान लेते हुए स्पीडी ट्रायल के तहत दिसंबर तक निबटारा करने का निर्देश दिया था.

यह था मामला

सुलतानगंज के घाट रोड, बिजली ऑफिस के सामने 23 जून 2015 की रात रेखा देवी (32) व उसकी दो बेटी कोमल कुमारी (16) व अंशु (7) की धारदार हथियार से गला रेत कर हत्या कर दी गयी थी. तीनों की लाश घर के कमरे से पुलिस ने बरामद किया था. घटना की सूचना पर राजेश साह व बहन अनिता देवी, बड़े भाई संजय साह व भांजा गौतम के साथ बालुघाट रोड पर आया. आसपास के लोगों ने बताया कि मृतक रेखा देवी की संपत्ति हड़पने के लिये व उसके द्वारा रुपये नहीं देने पर हत्या की गयी है. घटना के फौरन बाद पुलिस ने रेखा के साथ अवैध रूप से रहनेवाले व्यवसायी निरंजन कुमार साह उर्फ अलखदेव को हिरासत में लिया था.

पुलिस ने घटना के 12 घंटे बाद खुलासा करते हुए निरंजन कुमार साह उर्फ अलखदेव तथा उसके भाई वीरेंद्र कुमार के खिलाफ मृतक रेखा देवी के भाई काजीचक (मिरजान हाट) पंकज कुमार साह की शिकायत पर मामला दर्ज किया. इस घटना में पुलिस ने 20 सितंबर 2015 को चार्जशीट दायर हुआ और निरंजन कुमार साह व वीरेंद्र कुमार के खिलाफ 20 नवंबर 2015 को कोर्ट में आरोप गठित हुआ.

यह थी घटना को लेकर पुलिस की तफ्तीश

मृतक रेखा देवी के पति अजय साह की मौत वर्ष 2013 में हो गयी थी. पति की मौत के बाद रेखा देवी को रिश्ते में उसका ममेरा देवर निरंजन कुमार साह उर्फ अलखदेव उसे बहला-फुसलाकर कर अपने साथ रखने लगा. दोनों के बीच अवैध संबंध भी था. रेखा देवी की संपत्ति हड़पने के लिये निरंजन उर्फ अलखदेव खुद को उसका पति बताता था.

ट्यूशन पढ़ा कर चलाती थी घर
वर्ष 1997 में अजय साह के साथ रेखा देवी की शादी धूमधाम से हुई थी. रेखा देवी अपने पति की मौत के बाद बच्चों को ट्यूशन पढ़ाकर घर चलाती थी. उसकी बेटी कोमल कुमारी इंटर की परीक्षा पास की थी. कोमल की शादी को लेकर भी चर्चा हो रही थी. उसका एक मात्र लड़का था, जिसका नाम मनीष कुमार था. वह पढ़ाई के सिलसिले में खगड़पुर हवेली गया था. रेखा देवी का मायका शहर के काजीचक में था.

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