एपीपी पुत्र अपहरण का मामला झूठा
भागलपुर: एपीपी सच्चिदानंद सिंह के पुत्र सुबोध उर्फ डब्ल्यू अपहरण कांड का मामला झूठा निकल गया है. घरवालों के संग मिल कर सुबोध ने खुद के अपहरण का नाटक रचा था. इशाकचक पुलिस ने रविवार को कथित अपहृत सुबोध को मुजफ्फरपुर से सही-सलामत बरामद कर इस नाटक का परदाफाश कर दिया. सुबोध अपनी पत्नी की […]
भागलपुर: एपीपी सच्चिदानंद सिंह के पुत्र सुबोध उर्फ डब्ल्यू अपहरण कांड का मामला झूठा निकल गया है. घरवालों के संग मिल कर सुबोध ने खुद के अपहरण का नाटक रचा था. इशाकचक पुलिस ने रविवार को कथित अपहृत सुबोध को मुजफ्फरपुर से सही-सलामत बरामद कर इस नाटक का परदाफाश कर दिया. सुबोध अपनी पत्नी की बड़ी बहन के घर मुजफ्फरपुर में छुपा हुआ था.
वह लगातार अपने साला और घर के अन्य परिजनों से संपर्क में था. पुलिस ने वैज्ञानिक तरीके से इस मामले की जांच की तो सच कुछ और ही निकला. एसएसपी विवेक कुमार ने बताया कि 44 लाख की देनदारी से बचने से लिए सुबोध और उसके घरवालों ने अपहरण की यह कहानी तैयार की थी. अब इस झूठे अपहरण कांड के वादी (एपीपी सच्चिदानंद सिंह), कथित अपहृत सुबोध व वैसे लोग जो इस कहानी को जानते थे, उनके खिलाफ झूठा केस दर्ज कराने की प्राथमिकी दर्ज होगी. भादवि 182 व 211 के तहत इस कांड की प्राथमिकी दर्ज की जायेगी. पुलिस के पास इसके अकाट्य साक्ष्य हैं. साथ ही जिला व सत्र न्यायाधीश से अनुरोध किया जायेगा कि पुलिस को गुमराह करनेवाले इस केस की सुनवाई स्पीडी ट्रायल की तरह प्राथमिकता के आधार पर दो माह के भीतर हो.
44 लाख की देनदारी से बचने के लिए किया नाटक. एसएसपी ने बताया कि सुबोध जमीन के कारोबार से जुड़ा हुआ है. उसने सुमन के संग मिल कर बरहपुरा के सैयद जया मो आजमी उर्फ गुड्डू से एक जमीन का सौदा एक करोड़ 24 लाख में किया था. यह जमीन जिछो में है, जिसका रकबा 90 कट्ठा है. एक करोड़ 24 लाख में सुबोध ने 80 लाख रुपये की जमीन रजिस्ट्री कर दी थी. लेकिन बाकी 44 लाख की जमीन रजिस्ट्री नहीं हो पायी थी. इस कारण खरीदार गुड्डू और सहयोगी लगातार जमीन या पैसे लौटाने का दबाव सुबोध पर बना रहे थे. 29 नवंबर को सुबोध ने पैसे देने की बात कही थी, लेकिन इसी दौरान सुबोध गायब हो गया और उसके पिता एपीपी सच्चिदानंद सिंह ने खरीदार गुड्डू, सुबोध के सहयोगी सुमन समेत कुल दस लोगों पर अपहरण की प्राथमिकी दर्ज करा दी.
मेरे बेटे का अपहरण हुआ था : एपीपी
इशाकचक थाने में पत्रकारों से बात करते हुए डब्लू के पिता एपीपी सच्चिदानंद सिंह ने कहा कि पुलिस जो कहानी बनाये, पर उनके बेटे का अपहरण हुआ था. आखिर एक पिता ने नाते उन्होंने अपने अपहृत बेटे के अपहरण की प्राथमिकी दर्ज करायी. बेटे के सही-सलामत मिल जाने के बाद उन्होंने अपने संघ के अलावा इशाकचक इंस्पेक्टर को भी इसकी जानकारी दी थी.