भागलपुर : फिर से भाजपा में अंदरूनी राजनीति गरमा गयी है. मंगलवार को भाजपा जिलाध्यक्ष नभय चौधरी की अध्यक्षता में हुए बैठक के बाद विरोध शुरू हो गया है. भाजपा नेता देव कुमार पांडेय कहते हैं कि बिना सभी कमेटी के सदस्यों के साथ बैठक किये जिलाध्यक्ष ने फेरबदल कर दिया.
हमलोग इसका विरोध करते हैं. भाजपा नेता रामनाथ पासवान ने कहा कि यह गलत है. आधे से अधिक जिला कमेटी के पदाधिकारी बैठक में शामिल ही नहीं हुए और कमेटी का दोबारा चयन कर दिया गया. बैठक के दौरान एक कार्यकर्ता ने जिलाध्यक्ष से कहा कि जब भागलपुर विधान सभा प्रभारी का चयन हो गया था तो दोबारा चयन करने की क्या जरूरत थी. भाजपा नेता दिलीप मिश्रा ने कहा कि पहली सूची में मेरा नाम दिया जा रहा था पर हटा दिया गया.
वहीं जिलाध्यक्ष श्री चौधरी का कहना है कि हमने जो किया है वह ठीक है. पांच मार्च को प्रभारी का चयन किया गया था और कहा गया था कि आठ मार्च की बैठक में पटना जाएं, लेकिन अधिकतर कार्यकर्ता नहीं गये. दिलीप मिश्रा किसी पदाधिकारी पद पर नहीं हैं वह सिर्फ प्रवक्ता हैं. इसलिए वह उस मानक में फिट नहीं बैठते हैं. दीपक वर्मा पटना की बैठक में गये इसलिए उनका चयन फाइनल हो गया. वह किसान मोरचा के प्रदेश पदाधिकारी हैं. पटना से यह निर्देश दिया गया था कि जो भी जिला या प्रदेश में पदाधिकारी के पद पर हैं उन्हें ही विधानसभा का प्रभारी बनाया जा सकता है.