ॅमयंक शुक्ल अपहरण केस: 25 मई के कोर्ट की सुनवाई पर टिकी परिजनों की निगाह

– 27 अगस्त 2014 से गायब मयंक शुक्ला का अभी तक कोई अता-पता नहीं – हाइकोर्ट में आरोपियों को नहीं मिली राहत, अग्रिम जमानत की अर्जी खारिज वरीय संवाददाता, भागलपुर मयंक शुक्ला अपहरण केस में परिजनों की निगाह 25 मई को भागलपुर व्यवहार न्यायालय के तृतीय अपर सत्र न्यायाधीश जनार्दन त्रिपाठी की सुनवाई पर टिक […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 22, 2015 9:05 PM

– 27 अगस्त 2014 से गायब मयंक शुक्ला का अभी तक कोई अता-पता नहीं – हाइकोर्ट में आरोपियों को नहीं मिली राहत, अग्रिम जमानत की अर्जी खारिज वरीय संवाददाता, भागलपुर मयंक शुक्ला अपहरण केस में परिजनों की निगाह 25 मई को भागलपुर व्यवहार न्यायालय के तृतीय अपर सत्र न्यायाधीश जनार्दन त्रिपाठी की सुनवाई पर टिक गयी है. गुरुवार को मामले में पटना हाइकोर्ट ने एडवोकेट अरविंद मिश्रा सहित अन्य आरोपियों की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी है. हाइकोर्ट से आरोपियों को राहत नहीं मिलने पर परिजनों ने पुलिस द्वारा उनके खिलाफ छापामारी तेज करने की मांग की है. मयंक के भाई अभय ने बताया कि व्यवहार न्यायालय ने पहले ही आरोपियों की अग्रिम जमानत की याचिका खारिज कर दी थी. इसके बाद उन्होंने पटना हाइकोर्ट में अग्रिम जमानत की अर्जी लगायी थी. जहां 21 मई को हाइकोर्ट न्यायाधीश मिहिर कुमार झा ने एडवोकेट अरविंद मिश्रा सहित मामले में शामिल अन्य आरोपियों की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी. उन्होंने कहा कि वे पहले ही कोर्ट में यह अर्जी दे चुके हैं कि आरोपियों द्वारा साक्ष्य को नष्ट करने के भी प्रयास किये जा रहे हैं. इसके साथ ही पूर्व में आरोपियों द्वारा धमकी देने के एवज में दर्ज सनहा के बारे में भी बता चुके हैं. याद रहे 27 अगस्त 2014 से ही मयंक शुक्ला घर नहीं लौटा है. इसमें भागलपुर कोर्ट ने एडवोकेट अरविंद मिश्रा, चुन्नु मिश्रा, मुकेश तिवारी, मनीष कुमार, रजनीश दूबे, किशन दूबे, रविशंकर दूबे, रोहित दूबे की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी है, जिसके बाद पुलिस सभी आरोपियों की तलाश मंे संभावित ठिकानों पर दबिश डाल रही है. – शब्द- 270.ऋषि

Next Article

Exit mobile version