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इंजीनियरिंग कॉलेज घाट पर प्रशासन लगायेगा बोर्ड

इंजीनियरिंग कॉलेज घाट पर प्रशासन लगायेगा बोर्डप्रतिनिधि,सबौर इंजीनियरिंग कॉलेज के पीछे कटाव स्थल पर प्रशासन की ओर से लोगों को स्नान करने से रोकने के लिए बोर्ड लगाया जायेगा़ बोर्ड में आम लोगों को गंगा किनारे पानी में गहरी खाई और तेज घुरनी धार होने की चेतावनी दी जायेगी़ इसकी जानकारी सबौर अंचलाधिकारी मालती कुमारी […]

इंजीनियरिंग कॉलेज घाट पर प्रशासन लगायेगा बोर्डप्रतिनिधि,सबौर इंजीनियरिंग कॉलेज के पीछे कटाव स्थल पर प्रशासन की ओर से लोगों को स्नान करने से रोकने के लिए बोर्ड लगाया जायेगा़ बोर्ड में आम लोगों को गंगा किनारे पानी में गहरी खाई और तेज घुरनी धार होने की चेतावनी दी जायेगी़ इसकी जानकारी सबौर अंचलाधिकारी मालती कुमारी ने दी. उन्होंने बताया कि यहां पर लोग अनजाने में स्नान करने पहुंच रहे हैं और वह गंगा के तेज घुरनी धार में फंस डूब रहे है़ं दूसरी ओर आज भी स्थानीय गोताखोतर व नौका से जाल डाल कर मंगलवार को डूबे बीएयू के सह प्राध्यापक चंदन किशोर के भतीजा दीपक कुमार की खोज की गयी, लेकिन सफलता नहीं मिली़ आज एसडीआरएफ की टीम सुलतानगंज चली गयी, जिस कारण दीपक की खोज दूर तक गंगा में नहीं की जा सकी़ समस्तीपुर के दीपक कुमार नवरात्र के पहली पूजा पर अपने चाचा चंदन किशाेर व उसके आठ वर्षीय साले ऋषभ राज के साथ इंजीनियरिंग कॉलेज के पीछे गंगा नदी में स्नान करने गये थे़ दीपक और ऋषभ खेलते हुए गंगा के पानी में जैसे ही गिरे दोनों अथाह पानी में चले गये़ आस पास के लोगों ने ऋषभ को बचा लिया, लेकिन दीपक डूब गया़ परिजनों ने आनन फानन में नवगछिया से गोताखोर को बुला कर दीपक की खोजबीन की, लेकिन कुछ पता नहीं चला़ शाम को एसडीआरएफ की टीम घटनास्थल पर पहुंची, लेकिन उसे भी सफलता नहीं मिली़ एक सप्ताह पहले भी फतेहपुर गांव के दो छात्र मो दाऊद उर्फ डीएम व मो माहताब उर्फ छोटू इसी जगह स्नान के दौरान डूब गये थे. घटना के दूसरे दिन बाबुपुर घाट पर मो माहताब उर्फ छोटू का शव ग्रामीणों ने बरामद किया था़ सावधान रहें यहां गंगा नदी में है गहरी खाई इंजीनियरिंग कॉलेज के पीछे कटाव स्थल पर नदी में गहरी खाई के साथ साथ तेज धुरनी धार है़ यहां पर बाढ़ नियंत्रण के लिए जल संसाधन विभाग की ओर से नदी में मिट्टी के बोरी व बांस बल्ले डाले गये है़ं बोरी पर चढ़ने पर ऊपर से सब कुछ ठीक ठाक दिखता है, लेकिन जैसे कोई पानी में उतरता है, वह गहरे अथाह पानी में चला जाता है और तेज धुरनी धार के चपेट में आकर वापस ऊपर नहीं आ पाता है़ जियाउद्दीनपुर चौका गांव के पास भी गंगा नदी में भी अंदर-अंदर कटाव होने से काफी गहरी खाई बन गयी है़ कटाव के दौरान यहां पर दर्जनों ताड़ व अन्य पेड़ पानी में समा चुके हैं. यहां बाढ़ नियंत्रण का कुछ कार्य हुआ है़ यहां नदी में एक से दो मीटर के बाद ही अथाह पानी है़ यहां पर पश्चिम की ओर से आ रहा धार पूरब में कटाव स्थल से टकरा कर वापस आता है़ यहां पानी का वेग इतना तेज है कि अच्छे-अच्छे तैराक के लिए भी तैरना मुश्किल होता है़ अचानक लोग पानी में उतर जायें, तो वह कुछ ही पल में काफी दूरी तक बह जाता है़ यहां डूबने की अाशंका है़ बाबुपुर घाट पर भी स्नान करना खतरे से खाली नहीं है़ यहां कटाव में एक मकान व कई बड़े पेड़ गंगा में समा चुके है़ं यहां पर ऊपर से 20 मीटर गहराई में गंगा बह रही है़ यहां भी अंदर-अंदर कटाव होने से कोल हो गया है़ सावधानी नहीं बरती गयी, तो स्नान करने वाले लोगों को पानी में बहने के साथ ही इस कोल में डूब जान गंवानी पड़ सकती है़

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