जेएलएनएमसीएच में कुत्ता व सांप काटने समेत 25 तरह की दवा नहीं

जेएलएनएमसीएच में कुत्ता व सांप काटने समेत 25 तरह की दवा नहीं संवाददाताभागलपुर : जवाहरलाल नेहरू मेडिकल काॅलेज अस्पताल में कुत्ता काटने पर दिये जाने वाले एंटी रैबीज और सांप के काटने पर पड़ने वाले एवीएस इंजेक्शन समेत करीब 25 तरह की दवाइयां नहीं है. एंटी रैबीज की सुई अस्पताल में पिछले तीन महीने से […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 4, 2015 12:06 AM

जेएलएनएमसीएच में कुत्ता व सांप काटने समेत 25 तरह की दवा नहीं संवाददाताभागलपुर : जवाहरलाल नेहरू मेडिकल काॅलेज अस्पताल में कुत्ता काटने पर दिये जाने वाले एंटी रैबीज और सांप के काटने पर पड़ने वाले एवीएस इंजेक्शन समेत करीब 25 तरह की दवाइयां नहीं है. एंटी रैबीज की सुई अस्पताल में पिछले तीन महीने से नहीं है. पिछले 19 अक्तूबर को 200 एंटी रैबीज दवा की फाइल मंगायी गयी थी, जो फिर खत्म हो गयी है. वहीं सांप काटने पर पड़ने वाली एवीएस इंजेक्शन भी नहीं है. अधीक्षक डॉ आरसी मंडल ने बताया कि कॉरपोरेशन कंपनी को एंटी रैबीज दवा की पांच हजार फाइल के लिए लिखा था, जिसमें मात्र 200 ही उपलब्ध कराया गया. कंपनी के प्रबंधक ने आश्वासन दिया है कि 10 दिनों के अंदर जो भी दवा की डिमांड की गयी है, सभी दवा को उपलब्ध करा दिया जायेगा. जेएलएनएमसीएच और सदर अस्पताल में दवा की स्थितिजवाहरलाल नेहरू मेडिकल काॅलेज में वर्तमान में ओपीडी विभाग में मरीजाें को 41 प्रकार की दवा और इंडोर विभाग में विभिन्न वार्डों में भरती मरीजों को 122 प्रकार की दवा दी जा रही है. वहीं सदर अस्पताल में आेपीडी विभाग में मरीजों को 33 प्रकार की दवा दी जा रही है. सदर अस्पताल में इंडोर विभाग में केवल गर्भवती महिलाओं को ही भरती किया जाता है, इसलिए इंडोर विभाग में केवल प्रसूता पीड़ितों को ही विटामिन व कफ सीरप की दवा ही दी जाती है. सदर अस्पताल में सर्दी, खांसी, बुखार, पेट दर्द आदि जैसे सामान्य बीमारी का ही इलाज होता है. गंभीर बीमारी वाले मरीज को जेएलएनएमसीएच मायागंज रेफर कर दिया जाता है.

Next Article

Exit mobile version