परेशानी. इंजीनियर नहीं लगा सके फॉल्ट का ट्रेस 23 घंटे ठप रही बिजली

भागलपुर: अनुभवहीन इंजीनियरों के कारण दक्षिणी शहर समेत जगदीशपुर, नाथनगर प्रखंड, व तातारपुर, सराय से लेकर नाथनगर शहरी क्षेत्र तक 23 घंटे से ज्यादा बिजली आपूर्ति पूरी तरह से ठप रही. लाखों लोगों के बीच बिजली-पानी को लेकर त्रहिमाम रही. किसी के घर चूल्हा नहीं जला, तो कोई बिना स्नान के ऑफिस गये. बच्चे पढ़ाई […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 30, 2013 10:47 AM

भागलपुर: अनुभवहीन इंजीनियरों के कारण दक्षिणी शहर समेत जगदीशपुर, नाथनगर प्रखंड, व तातारपुर, सराय से लेकर नाथनगर शहरी क्षेत्र तक 23 घंटे से ज्यादा बिजली आपूर्ति पूरी तरह से ठप रही. लाखों लोगों के बीच बिजली-पानी को लेकर त्रहिमाम रही.

किसी के घर चूल्हा नहीं जला, तो कोई बिना स्नान के ऑफिस गये. बच्चे पढ़ाई नहीं कर सके. कुल मिला कर लोगों की दिनचर्या गड़बड़ाया गयी. कब बिजली आयेगी या फिर नहीं आयेगी, इसे जानने के लिए जब उपभोक्ताओं ने इंजीनियरों को फोन किया, तो तंग आकर उन्होंने मोबाइल का ही स्वीच ऑफ कर लिया.

उच्चधिकारी अधीक्षण अभियंता का भी जवाब संतोषप्रद नहीं रहा. लोग सबौर ग्रिड से अलीगंज विद्युत उपकेंद्र को जाने वाली आपूर्ति लाइन गुरुवार अपराह्न् 3.35 बजे गड़बड़ा गयी और देर रात तक कहां खराबी हुई है, इसका ट्रेस भी नहीं लग सका और इंजीनियर व बिजली मिस्त्री लौट आये. पूरी रात उक्त इलाका अंधेरे में डूबा रह गया. दूसरे दिन शुक्रवार को भी दोपहर से पहले इंजीनियर आपूर्ति लाइन को दुरुस्त नहीं कर सके. उन्हें दुरुस्त करने में 23 घंटे से ज्यादा समय लग गया. शुक्रवार को अपराह्न् 2.45 बजे दुरुस्त हुआ, तो ही आपूर्ति बहाल हो सकी. उक्त इलाके को मेंटेन करने के लिए भागलपुर-1 से बिजली आपूर्ति की गयी, लेकिन कोई फर्क नहीं पड़ा, बल्कि भागलपुर-1 के उपभोक्ताओं को भी कट-कट कर बिजली मिलने लगी और उपभोक्ताओं को बिजली संकट का सामना करना पड़ा.

शाम से थोड़ा सुधार
आवंटन में कटौती के कारण शहर को पूरे दिन 30 मेगावाट ही बिजली मिलती रही और पूरे शहर में हाहाकार मची रही. शाम छह बजे के बाद आपूर्ति में थोड़ी-बहुत सुधार हुई और 40 मेगावाट मिलने लगी है, लेकिन निर्बाध आपूर्ति के लिए 60 मेगावाट बिजली आपूर्ति जरूरी है.

Next Article

Exit mobile version