भागलपुर: क्षण भर की खुशी ने हमारे जीवन भर की कमाई भस्म कर दी. एक पटाखे से निकली चिंगारी से तो हमारी दुनिया ही बदल गयी. फुटपाथ पर दुकान सजा कर अपना व अपने परिवार का किसी तरह भरण-पोषण कर रहे थे लेकिन सब कुछ राख होने के बाद अब दोबारा अपने पैरों पर खड़ा हो भी पायेंगे कि नहीं, कहा नहीं जा सकता. यह कहना है कि घंटा घर के पास फुटपाथी दुकानदारों का. इन दुकानदारों की दुकान बुधवार रात किसी बराती द्वारा छोड़े गये पटाखे की चिंगारी से राख हो गयी थी.
गुरुवार सुबह अपनी दुकान की राख से जले-अधजले सामान को समटते दुकानदारों की आंखें नम हो जा रही थी. दुकानदार मो दानिश ने बताया कि वह रेडिमेड कपड़ों की दुकान करता है. आग लगने की घटना से करीब 15 मिनट पहले वह दुकान बंद कर अपने घर तहबलपुर के लिए निकले थे. घर पहुंचते ही उन्हें सूचना मिली कि दुकान में आग लग गयी है. जब तक यहां पहुंचते सब कुछ राख हो चुका था. पास में राख की ढेर से किताब व टीन के सामान समेट रहे एक दुकानदार ने बताया कि उनका तो सब कुछ बरबाद हो गया. यही उनकी आजीविका का सहारा था. अब वह क्या करेंगे, अभी कुछ नहीं सूझ रहा है.
एक दुकान बनाने में 30 हजार
दुकानदारों ने बताया कि अब उन्हें अपने जले दुकान को दोबारा बनाने में कम से कम 30 हजार रुपये खर्च होंगे. एक तो अपनी पूंजी गयी, अब ऊपर से दुकान बनाने का खर्च. महाजन का कर्ज चुकाते-चुकाते ही उनकी उम्र बीत जायेगी. फुटपाथ पर दुकान होने के कारण उनका कोई इंश्योरेंस आदि भी नहीं होता है. दुकानदारों ने प्रशासन से मुआवजा देने की भी मांग की है.