एमएड के लिए अपील में जायेगा कॉलेज
राज्य सरकार के रिसर्च एंड ट्रेनिंग डिपार्टमेंट के निदेशक को इ-मेल भेज कर मांगी अन भागलपुर : एमएड कोर्स के लिए तिलकामांझी भागलपुर विश्वविद्यालय का अध्यापक प्रशिक्षण महाविद्यालय एनसीटीइ (राष्ट्रीय शिक्षक शिक्षा परिषद) के निर्णय के विरोध में अपील करेगा. इसके लिए महाविद्यालय प्रशासन ने राज्य सरकार के रिसर्च एंड ट्रेनिंग डिपार्टमेंट के निदेशक को […]
राज्य सरकार के रिसर्च एंड ट्रेनिंग डिपार्टमेंट के निदेशक को इ-मेल भेज कर मांगी अन
भागलपुर : एमएड कोर्स के लिए तिलकामांझी भागलपुर विश्वविद्यालय का अध्यापक प्रशिक्षण महाविद्यालय एनसीटीइ (राष्ट्रीय शिक्षक शिक्षा परिषद) के निर्णय के विरोध में अपील करेगा. इसके लिए महाविद्यालय प्रशासन ने राज्य सरकार के रिसर्च एंड ट्रेनिंग डिपार्टमेंट के निदेशक को इ-मेल भेज कर अपील करने की अनुमति मांगी है. एनसीटीइ ने अध्यापक प्रशिक्षण महाविद्यालय (घंटाघर) द्वारा एमएड कोर्स की मान्यता के लिए भेजे गये आवेदन को खारिज कर दिया है.
एमएड के लिए…
एनसीटीइ के निर्णय के विरोध में जाने के लिए किसी संस्थान को 25 हजार रुपये प्रोसेसिंग मनी जमा करनी होती है. अध्यापक प्रशिक्षण महाविद्यालय एक सरकारी संस्था है. लिहाजा अपील में जाने के लिए उसे राज्य सरकार के रिसर्च एंड ट्रेनिंग डिपार्टमेंट से अनुमति लेना जरूरी होता है. निदेशक की अनुमति मिलने के बाद संस्थान ने अपील में जाने का निर्णय लिया है. उम्मीद की जा रही है कि अगले सत्र से यहां एमएड की पढ़ाई शुरू हो जायेगी. इसका सर्वाधिक लाभ पूर्वी बिहार व कोसी इलाके के छात्रों को मिल पायेगा.
इसलिए की जायेगी अपील
अध्यापक प्रशिक्षण महाविद्यालय का कहना है कि यह इस्टर्न बिहार का इकलौता ट्रेनिंग सेंटर है, जो 16 जनवरी 1954 से अस्तित्व में है. यहां कई दशक से टीचर्स ट्रेनिंग प्रोग्राम चलाया जा रहा है. 98 तक यहां एमएड की पढ़ाई होती थी. इसके बाद यह कोर्स इसलिए बंद हुआ कि यह एनसीटीइ से रिकग्नाइज नहीं था.