24 घंटे में एक बार खिचड़ी
भागलपुर : महाशय ड्योढ़ी में लगभग एक हजार बाढ़ पीड़ितों ने बाल बच्चे व माल मवेशी के साथ शरण ले रखी है. यहां ठहरे बैरिया के रविकाम मंडल, अजमेरीपुर के प्रमोद मंडल, राजेश मंडल, कन्हैया मंडल, बैरिया के कैलाश मंडल आदि ने बताया कि आज आठ दिन से हमलोग यहां है. 24 घंटे में एक […]
भागलपुर : महाशय ड्योढ़ी में लगभग एक हजार बाढ़ पीड़ितों ने बाल बच्चे व माल मवेशी के साथ शरण ले रखी है. यहां ठहरे बैरिया के रविकाम मंडल, अजमेरीपुर के प्रमोद मंडल, राजेश मंडल, कन्हैया मंडल, बैरिया के कैलाश मंडल आदि ने बताया कि आज आठ दिन से हमलोग यहां है. 24 घंटे में एक बार सरकारी खिचड़ी आती है, जिसे अधिकतर बच्चे व महिलाएं खा रही हैं. अधिकतर बड़े लोग घर का सत्तू रोटी खा रहे हैं.
एक टैंकर पानी सुबह आता है, जो दो घंटे बाद खत्म हो जाता है. एक चापाकल बंगाली टोला के मुहाने पर है, उसी से काम चला रहे हैं. कुछ लोगों को छोड़ अधिकतर लोग खुले आसमान के नीचे इस कड़ी धूप में दिन काट रहे हैं. इस धूप में आदमी तो इधर-उधर चला भी जाता है, लेकिन पशुओं को थोड़ा बहुत चारा खिलाकर धूप में ही रखना पड़ रहा है. इसे पशु बीमार होने लगे है और दुधारू पशुओं ने दूध देना बंद कर दिया है. करीब एक दर्जन शौचालय बनाया गया है, लेकिन उसकी सफाई नहीं हो रही है.