भागलपुर : विक्रमशिला सेतु के समानांतर पुल निर्माण की घोषणा और इसके लिए डीपीआर बनाने को लेकर कंसल्टेंसी एजेंसी चयन का टेंडर निकाले लगभग पांच माह बीत चुका है. तब से लेकर अब तक पुल निर्माण निगम एजेंसी नियुक्त नहीं कर सका है. पुल निर्माण निगम टेंडर के पेच में फंसा है. कंसल्टेंसी एजेंसी चयन के लिए पहली बार जून में निकाला गया.
इसके बाद इसे रिवाइज के नाम पर रद्द कर दिया गया. कई शर्तों को शामिल कर दोबारा टेंडर अक्तूबर में निकाला गया, जिसका टेक्निकल बिड 27 अक्तूबर को खुलना था, मगर टेंडर की तिथि बढ़ा दी गयी है. कंसल्टेंसी एजेंसी का टेंडर अब चार नवंबर के बाद खुलेगा. विडंबना यह है कि अबतक किसी भी एजेंसी ने इसके लिए टेंडर नहीं डाला है. इससे यह आशंका गहराने लगी है कि एक बार फिर से टेंडर की तिथि बढ़ायी जायेगी.
विक्रमशिला सेतु की मरम्मत भी टेंडर के पेच में : 14.35 करोड़ से विक्रमशिला सेतु की मरम्मत की योजना भी टेंडर के पेच में फंसी है. पुल निर्माण निगम छह माह बाद भी कांट्रैक्टर बहाल नहीं करा सका है.
तीसरी बार निकाले गये टेंडर का टेक्निकल बिड खुलने के बाद भी यह मुख्यालय स्तर पर फंसा है. सिंगल टेंडर पर अबतक सहमति नहीं बन सकी है. हर बार की तरह इस बार भी मुंबई की रोहरा रीबिल्ड स्ट्रक्चर एशोसिएट के नाम ही सिंगल टेंडर खुला, जिसे अनुमति नहीं दी जा रही है. अधिकारी के मुताबिक पहली बार टेंडर अगर सिंगल होता है, तो अनुमति नहीं मिलती है. मगर, दोबारा टेंडर सिंगल होता है, तो इसे मंजूर करने का प्रावधान है. इस प्रावधान के तहत दोबारा टेंडर में ही अनुमति मिलनी चाहिए थी. अब अगर अनुमति मिले, तो फाइनेंसियल बिड खुलेगा और डीपीआर बनना शुरू होगा.
डीपीआर बनाने के लिए कंसल्टेंसी एजेंसी का चयन जरूरी
समानांतर पुल के लिए कंसल्टेंसी एजेंसी चयन का टेंडर चार नवंबर के बाद खुलेगा. टेंडर फाइनल होने के बाद डीपीआर बनना शुरू होगा. विक्रमशिला सेतु की मरम्मत की टेक्निकल फाइल मुख्यालय में है.
मो आसिम अंसारी, वरीय परियोजना पदाधिकारी पुल निर्माण निगम कार्य प्रमंडल, भागलपुर