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भागलपुर स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट की डेडलाइन जून तक, चार अधूरे प्रोजेक्ट में भैरवा तालाब का काम अभी भी ठप

भागलपुर स्मार्ट सिटी के प्रबंध निदेशक ने योजनाओं की समीक्षा की और जारी कार्यों को यथाशीघ्र पूरा करने का दिया निर्देश. मल्टीलेबल ऑटोमेटिक कार पार्किंग हो रहा संचालित, फिर भी अधूरी योजनाओं की श्रेणी में शामिल

By Anand Shekhar | June 18, 2024 10:50 PM

भागलपुर स्मार्ट सिटी परियोजना को पूरा करने की डेडलाइन जून है और अब ज्यादा दिन नहीं बचे हैं. इसके बावजूद चार बड़ी योजनाएं अभी भी अधूरी हैं. जिस तरह से काम चल रहा है, उससे इन योजनाओं के पूरा होने की उम्मीद कम ही है. मंगलवार को प्रबंध निदेशक सह नगर आयुक्त नितिन कुमार सिंह ने स्मार्ट सिटी योजनाओं की समीक्षा की.

नितिन कुमार सिंह ने सभी ऑनगोइंग योजनाओं को शीघ्र पूरा करने का निर्देश दिया है.स्मार्ट सिटी के प्रबंध निदेशक सह नगर आयुक्त ने बताया कि 19 में 15 परियोजनाओं को पूरा कर लिया गया है. बरारी घाट, मल्टीलेवल ऑटोमेटिक कार पार्किंग, भैरवा तालाब एवं एयरपोर्ट की परियोजनाओं पर कार्य जारी है. यानी, कार पार्किंग की योजना अभी भी अधूरी है. भैरवा तालाब को छोड़कर शेष तीन परियोजनाओं की भौतिक प्रगति 85 प्रतिशत से अधिक बताया है.

भैरवा तालाब के सौंदर्यीकरण का काम अभी भी ठप

भैरवा तालाब के सौंदर्यीकरण का कार्य अभी भी ठप है. लंबे समय से बंद काम को शुरू नहीं किया जा सका है. स्मार्ट सिटी कंपनी ने प्रबंध निदेशक को बताया कि संवेदक को शीघ्र कार्य प्रारंभ करने काे कहा गया है.

दावा 85 प्रतिशत से ज्यादा काम पूरा करने का

स्मार्ट सिटी कंपनी ने प्रबंध निदेशक को बताते हुए दावा किया है कि हवाई अड्डा, रिवर फ्रंट डेवलपमेंट (बरारी) का कार्य प्रगति 85 प्रतिशत से ज्यादा है.

कौन सी योजनाएं पर कितनी राशि की जा रही खर्च

1. रिवर फ्रंट डेवलपमेंट : 169.25 करोड़ रुपये

2. भैरवा तालाब सौंदर्यीकरण : 40.42 करोड़ रुपये

3. हवाई अड्डे का परिधीय विकास : 14.10 करोड़ रुपये

4. मल्टीलेवल ऑटोमैटेड कार पार्किंग : 9.54 करोड़ रुपये

भागलपुर स्मार्ट सिटी सोसाइटी का अबतक रजिस्ट्रेशन नहीं

स्मार्ट सिटी की पूर्ण सभी योजनाओं का मेंटेनेंस सोसाइटी से होना है. सोसाइटी गठित हो गयी है. भागलपुर स्मार्ट सिटी के नाम से गठित सोसाइटी का रजिस्ट्रेशन अबतक नहीं हो सका है. इसका रजिस्ट्रेशन नगर विकास और आवास (यूडीएचडी) विभाग से होना है. लेकिन, स्मार्ट सिटी कंपनी की ओर से रजिस्ट्रेशन के लिए यूडीएचडी को अब तक फाइल नहीं भेजी जा सकी है. जबकि, सोसाइटी गठित हुए कई महीने बीत चुके हैं. बाकी के चार योजनाएं जब पूरी हो जायेगी, तो कंपनी के पास कोई नया काम कराने के लिए नहीं रह जायेगा. बावजूद, इसके गठित सोसाइटी के रजिस्ट्रेशन की दिशा में कदम आगे नहीं बढ़ा रहा है.

गठित सोसाइटी में अध्यक्ष यूडीएचडी के प्रभारी सचिव, सदस्य के रूप में जिला पदाधिकारी, आरक्षी अधीक्षक व मेयर एवं सदस्य सचिव के रूप में नगर आयुक्त शामिल हैं. सृजित परिसंपत्तियों का स्थायी रखरखाव, शुल्क संग्रहण एवं प्रबंधन की व्यवस्था संबंधित सोसाइटी द्वारा होनी है. गठित सोसाइटी का निबंधन स्मार्ट सिटी के प्रबंध निदेशक द्वारा यूडीएचडी के निर्देशानुसार कराया जाना है. गठित सोसाइटी के निबंधन संबंधी जानकारी के लिए पीआरओ पंकज कुमार को फोन करने पर रिसीव नहीं किया गया.

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