वरीय संवाददाता, भागलपुरगंगा नदी बेसिन में बारिश कम होते ही इसका असर गंगा नदी के जलस्तर पर पड़ने लगा है. जल संसाधन विभाग द्वारा बुधवार दोपहर दो बजे जारी सूचना के अनुसार भागलपुर का जलस्तर स्थिर रहा. नदी का जलस्तर 31.91 मीटर रहा. भागलपुर में गंगा नदी का खतरे का निशान 33.68 मीटर है. फिलहाल नदी का जलस्तर खतरे के निशान से 1.77 मीटर कम है. इधर, नेपाल में हो रही बारिश के कारण नवगछिया से सटे कुरसेला घाट पर कोसी नदी का जलस्तर 0.07 मीटर बढ़ कर 29.50 मीटर तक पहुंच गया. कोसी नदी खतरे के निशान 30 मीटर से फिलहाल आधा मीटर दूर है. इधर, गंगा के जलस्तर की बात करें तो बुधवार को इलाहाबाद में जलस्तर स्थिर रहा. वहीं वाराणसी व बक्सर में जलस्तर में वृद्धि हुई. पटना के दीघाघाट व गांधी घाट समेत मोकामा से सटे हाथिदा व मुंगेर में जलस्तर कम हुआ है. भागलपुर व कहलगांव में जलस्तर स्थिर है. गुरुवार को भागलपुर में जलस्तर कम हो सकता है.
—————————————धान की रोपनी के लिए किसानों को झमाझम बारिश का इंतजार
जिले में बुधवार को तेज धूप के कारण लोगों को जलन व ऊमस का अहसास हुआ. आसमान में नियमित अंतराल में बादलों की आवाजाही के बावजूद बारिश नहीं हुई. गर्मी से निजात पाने के लिए लोगों को बारिश का इंतजार है. खासकर धान की नर्सरी तैयार कर चुके किसानों के लिए झमाझम बारिश जरूरी है. खेतों में पानी जमा होने के बाद ही धान के बिचड़े की रोपनी हो पायेगी. बुधवार को दिन का अधिकतम तापमान 37 डिग्री व न्यूनतम तापमान 28 डिग्री रिकॉर्ड किया गया. हवा में नमी की मात्रा 72 फीसदी रही. दिन भर धीमी गति से उत्तर पूर्व दिशा से हवा चलती रही. हवा के साथ आयी नमी के कारण आद्रता अधिक रही. बीएयू सबौर के ग्रामीण कृषि मौसम सेवा के नोडल पदाधिकारी डॉ वीरेंद्र कुमार ने बताया कि 18 से 21 जुलाई के बीच जिले में एक दो स्थानों पर हल्की से मध्यम स्तर की बारिश होने का अनुमान है. इस दौरान अधिकतम 15 किमी प्रतिघंटा की गति से पूर्वा हवा चल सकती है. बीते दिनों हुई बारिश के कारण वातावरण में धूलकण की मात्रा कम हुई है. इससे वायु प्रदूषण काफी कम हुआ है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है