छठ महापर्व : खरना का प्रसाद ग्रहण कर 36 घंटे का निर्जला उपवास शुरू, पहला अर्घ आज
जिलेभर में व्रतियों ने महापर्व छठ को लेकर बुधवार को संध्या में खरना का प्रसाद ग्रहण किया. और इसके साथ ही व्रतियों का 36 घंटे का निर्जला उपवास शुरू हो गया है. खरना से पहले व्रती दिनभर उपवास में रहे और संध्या में पूजा-अर्चना की. गुरुवार को पहले अर्घ के रूप में अस्ताचलगामी अर्थात डूबते सूर्य को अर्घ दिया जायेगा.
जिलेभर में व्रतियों ने महापर्व छठ को लेकर बुधवार को संध्या में खरना का प्रसाद ग्रहण किया. और इसके साथ ही व्रतियों का 36 घंटे का निर्जला उपवास शुरू हो गया है. खरना से पहले व्रती दिनभर उपवास में रहे और संध्या में पूजा-अर्चना की. गुरुवार को पहले अर्घ के रूप में अस्ताचलगामी अर्थात डूबते सूर्य को अर्घ दिया जायेगा. अगले दिन शुक्रवार को उदीयमान सूर्य को अर्घ देने के साथ ही छठ महापर्व का समापन हो जायेगा.
श्रद्धालुओं व पड़ोसियों में बांटा खरना का प्रसाद
———–
आज सूर्यास्त संध्या 5:12 बजे, कल सूर्योदय 6:13 बजे
भागलपुर जिले में आज संध्या 05:12 बजे सूर्यास्त होगा. पहले दिन सूर्य को अस्त के समय अर्घ दिया जायेगा. लोक आस्था के इस महापर्व के आखिरी दिन प्रातः काल में सूर्योदय के समय भगवान भास्कर को अर्घ दिया जाता है. पंडित आनंद मिश्रा ने बताया यहां कि सहस्त्र किरण वाले भुवन भास्कर असत्य से सत्य की ओर, अंधकार से प्रकाश की ओर और मृत्यु से अमरत्व की ओर ले जाते हैं. गुरुवार को सूर्यास्त संध्या 5:12 बजे होगा. इसके बाद दूसरे दिन उदीयमान सूर्य को अर्घ दिया जायेगा. शुक्रवार को सुबह 6:13 बजे सूर्योदय होगा.अर्घदान मंत्र
ऐहि सूर्य सहस्त्रांसो तेजो राशि जगत्पये,
अनुकम्पय मां भक्त्या गृहाणार्घ्य दिवाकरः.
ऐषो अर्घ्यः समर्पयामि श्री सं सूर्याय नमःअथवा “ऊं आदित्य नमः मंत्र या ऊं घृणि सूर्याय नमः “. अथवा
ॐ आदित्याय विदमहे दिवाकराय धीमहि तन्नो सूर्यः प्रचोदयत् ।।
सूर्य-गायत्री मंत्र का जाप भी किया जा सकता है.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है