BAU में आइसोलेशन वार्ड चिह्नित, 35 हजार सीट तक बढ़ेगी क्वारेंटीन सेंटर की क्षमता
कोरोना वायरस के संक्रमण की रोकथाम के लिए जिला प्रशासन ने बिहार कृषि विश्वविद्यालय, सबौर परिसर में एक भवन को आइसोलेशन वार्ड के रूप में चिह्नित किया है. जवाहरलाल नेहरू चिकित्सा महाविद्यालय अस्पताल में कोरोना मरीजों की संख्या क्षमता से अधिक हो जाने की स्थिति में अतिरिक्त मरीजों को बीएयू में शिफ्ट किया जायेगा. यहां आइसोलेशन वार्ड संचालित होने की स्थिति में डॉक्टर, नर्स और अन्य चिकित्साकर्मी के साथ-साथ चिकित्सा के तमाम साधन उपलब्ध कराये जायेंगे.
भागलपुर : कोरोना वायरस के संक्रमण की रोकथाम के लिए जिला प्रशासन ने बिहार कृषि विश्वविद्यालय, सबौर परिसर में एक भवन को आइसोलेशन वार्ड के रूप में चिह्नित किया है. जवाहरलाल नेहरू चिकित्सा महाविद्यालय अस्पताल में कोरोना मरीजों की संख्या क्षमता से अधिक हो जाने की स्थिति में अतिरिक्त मरीजों को बीएयू में शिफ्ट किया जायेगा. यहां आइसोलेशन वार्ड संचालित होने की स्थिति में डॉक्टर, नर्स और अन्य चिकित्साकर्मी के साथ-साथ चिकित्सा के तमाम साधन उपलब्ध कराये जायेंगे.
वहीं, जिले में क्वारेंटीन सेंटरों की संख्या बढ़ायी जाने लगी है. जिलाधिकारी प्रणव कुमार ने निर्देश दिया है कि क्वारेंटीन सेंटरों की कुल क्षमता तत्काल 35 हजार होनी चाहिए. प्रखंड व पंचायत के क्वारेंटीन सेंटरों में पहले प्रवासी श्रमिकों को रहने के लिए 21765 का स्ट्रेंथ बना हुआ था. अब ग्राम लेवल पर भी क्वारेंटीन सेंटर चिह्नित किया जाने लगा है. वर्तमान में क्वारेंटीन सेंटरों की संख्या 351 है और इसकी क्षमता करीब 24 हजार है.
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आज भी आयेगी चार ट्रेनें
दूसरी ओर भागलपुर व नवगछिया रेलवे स्टेशनों पर हरेक दिन लगातार ट्रेनें दूसरे राज्यों से आ रही हैं. ट्रेनों से हर दिन हजारों श्रमिक व अन्य लोग उतर रहे हैं. गुरुवार को सात ट्रेनें भागलपुर रेलवे स्टेशन पर श्रमिकों व अन्य लोगों को लेकर पहुंची. शुक्रवार को भी भागलपुर रेलवे स्टेशन पर चार ट्रेनें जामनगर, नगालापल्ले, दिल्ली व आनंद विहार रेलवे स्टेशन से श्रमिकों को लेकर पहुंचेगी. सभी श्रमिकों को क्वारेंटीन सेंटर पहुंचाया जा रहा है. ऐसे में जिले में अधिक क्वारेंटिन सेंटर बनाये जाने की आवश्यकता पड़ गयी है.
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आइसोलेशन वार्ड की इसलिए है जरूरत
भागलपुर समेत राज्य के विभिन्न जिलों से हर दिन आ रही कोरोना पॉजिटिव मरीजों की रिपोर्ट में अधिकतर मरीजों की ट्रेवल हिस्ट्री दूसरे राज्यों से आने की मिल रही है. यानी पूरी रिपोर्ट में अधिकतर मरीज वैसे हैं, जो दूसरे राज्य से आने के बाद क्वारेंटीन सेंटर में रह रह रहे हैं या फिर दूसरे राज्यों से आने के बाद उनकी जांच में संदिग्ध पाये जाने पर चिकित्सारत हैं. लगातार श्रमिकों के आने का सिलसिला जारी रहने के कारण मरीजों की संख्या भी बढ़ने की आशंका व्यक्त की जा रही है. इसी कारण एक और आइसोलेशन वार्ड पहले से चिह्नित कर रखा जा रहा है, ताकि दबाव बढ़ने पर किसी प्रकार की अफरातफरी उत्पन्न नहीं हो.
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इस मामले पर राजेश झा राजा (एडीएम, भागलपुर) बिहार कृषि विश्वविद्यालय परिसर में आइसोलेशन वार्ड के लिए भवन चिह्नित किया गया है. यह भविष्य को ध्यान में रखते हुए तैयारी है, ताकि जरूरत पड़ने पर भवन ढूंढ़ने की जरूरत न हो. आवश्यकतानुसार बीएयू के भवन का आइसोलेशन वार्ड के रूप में उपयोग किया जायेगा.