प्रखंड व अंचलों के कैश बुक की हुई थी जांच, मिली वित्तीय अनियमितता
जिला प्रशासन ने 20 जून को सभी प्रखंड व अंचल कार्यालयों के कैश बुक की जांच करने के लिए जांच दल का गठन किया था. इस दल ने जांच करने के बाद जिला प्रशासन को रिपोर्ट सौंपी. सभी कार्यालयों के कैश बुक में विभिन्न प्रकार की वित्तीय अनियमितता पकड़ी गयी है. जांच रिपोर्ट मिलने के बाद डीएम ने उपविकास आयुक्त और अपर समाहर्ता को निर्देश दिया कि सभी प्रखंड व अंचल कार्यालयों में पकड़ी गयी वित्तीय अनियमितता का निराकरण करायेंगे.
जिला प्रशासन ने 20 जून को सभी प्रखंड व अंचल कार्यालयों के कैश बुक की जांच करने के लिए जांच दल का गठन किया था. इस दल ने जांच करने के बाद जिला प्रशासन को रिपोर्ट सौंपी. सभी कार्यालयों के कैश बुक में विभिन्न प्रकार की वित्तीय अनियमितता पकड़ी गयी है. जांच रिपोर्ट मिलने के बाद डीएम ने उपविकास आयुक्त और अपर समाहर्ता को निर्देश दिया कि सभी प्रखंड व अंचल कार्यालयों में पकड़ी गयी वित्तीय अनियमितता का निराकरण करायेंगे. इस दिशा में काम चल रहा है. कई कार्यालयों में पूर्व नाजिर द्वारा वर्तमान नाजिर को संपूर्ण प्रभार नहीं देने के कारण जांच में अड़ंगा लग गया.
कई बैंक खाते बंद कराने का जांच दल ने दिया सुझाव
सबौर प्रखंड कार्यालय में कुल सात बैंक खाता हैं. इसमें से केवल दो बैंक खाता परिचालन में है. बाकी सभी खाता से कोई लेनदेन नहीं हो रहा है, जिसके कारण कई बैंक खाता डोरमेंट हो चुका है. रिपोर्ट दी गयी है कि इतनी संख्या में खाता रखना उचित नहीं, जिसे विभागीय निर्देश के आधार पर बंद करने का सुझाव दिया गया है. सबौर अंचल में चार बैंक खाता है. इसमें केवल एक खाता ही सक्रिय है. बाकी सभी खाता में कोई लेनदेन नहीं होने के कारण डोरमेंट हो चुका है. कहलगांव प्रखंड कार्यालय के पांच बैंक खाते हैं. इनमें दो खाते अक्रियाशील हैं. इन्हें बंद करने का सुझाव दिया गया है. इस्माइलपुर प्रखंड में कुल 10 बैंक खाते हैं. इसमें कई बैंक खाते डोरमेंट हो चुके हैं. जांच दल ने कहा है कि इतनी संख्या में खाते रखना उचित नहीं है और इन्हें बंद किया जाना बेहतर होगा. यहां 25 सहायक रोकड़ पंजी को भी जांच दल ने अनुचित बताया है. इसमें अधिकतर पंजी में काफी लंबी अवधि से कोई लेनदेन नहीं हो रहा है. योजना भी बंद हो चुकी है. लिहाजा शेष राशि को जमा करते हुए सहायक कैश बुक को बंद करने कहा गया है. बिहपुर प्रखंड कार्यालय का भी एक बैंक खाता डोरमेंट हो गया है. सबौर प्रखंड कार्यालय द्वारा बैंक क्लियरिंग का भी ब्योरा माहवार तैयार नहीं किया जाता है. इस कारण खाते में अंतिम शेष कुछ और कैश बुक में कुछ दर्ज है. ऐसा क्यों है, इसकी जानकारी नाजिर ने जांच दल को नहीं दी.सीबीआइ कार्यालय में है कैश बुक, नहीं हुई जांच
कहलगांव प्रखंड कार्यालय से संबंधित छात्रवृत्ति योजना की जांच नहीं की जा सकी. नाजिर ने जांच दल को बताया कि इससे संबंधित कैश बुक सीबीआइ, पटना के कार्यालय में जमा है. कैश बुक प्रखंड कार्यालय में नहीं रहने के कारण इसकी जांच नहीं हो सकी.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है