आमापुर गांव के 60 घरों में घुसापानी, मवेशी चारा व शौचालय की परेशानी
कहलगांव के आसपास बाढ़ अपना विकराल रूप को धारण कर लिया है
कहलगांव के आसपास बाढ़ अपना विकराल रूप को धारण कर लिया है. गंगा प्रति घंटे एक सेंटीमीटर के हिसाब से बढ़त बनाये हुए है. प्रखंड के निचले इलाकों में बाढ़ का पानी लोगों के घरों व वासा में प्रवेश करने लगा है. भोलसर पंचायत के लगभग 60 घरों में सोमवार को बाढ़ का पानी घुस गया है. ग्रामीणों की परेशानी बढ़ गयी है. बाढ़ पीड़ितों ने बताया कि अभी हमलोगों को भोजन व जलावन की परेशानी नहीं है. हमलोगों के घरों में पानी घुसने से पशुओं के चारे व शौचालय कि समस्या है. बाढ़ पीड़ित सरयुग मंडल, धनश्याम मंडल, मीरा देवी, विजय मंडल, मंटु मंडल, मकेश्वर मंडल, अजय मंडल ने बताया कि हमलोगों के घरों में बाढ़ का पानी भर गया है. ऊंचे स्थान पर जाने के लिए नौका की समस्या हो रही है. प्रशासनिक अधिकारी अबतक सुधि नहीं ले रहे हैं. बाढ़ का पानी तौफिल, अंठावन, रानीदियारा इलाकों में तेजी से फैलने लगा है. लोग सुरक्षित स्थानों पर जाने लगे हैं. .केंद्रीय जल आयोग के अनुसार प्रति घंटे एक सेंटीमीटर की बढ़त के साथ गंगा का जलस्तर सोमवार की शाम 6:00 बजे तक 31.60 मीटर पर जा पहुंचा, जो खतरे के निशान से 51 सेंटीमीटर ऊपर पहुंच गया है. जलस्तर में बढ़त की संभावना है.
दादपुर सहजाधार स्लूइश गेट से हो रहा रिसाव
कोसी-गंगा नदी के जलस्तर में लगातार बढ़ोतरी व उफान से बाढ़ की स्थिति प्रबल हो गयी है. तटबंध और स्लूइश गेट से जगह-जगह रिसाव होने लगा है. रिसाव की रफ्तार लगातार बढ़ रही है. कोसी नदी का दबाव बढ़ने से गेट कभी भी क्षतिग्रस्त हो सकता है. स्लूइश गेट क्षतिग्रस्त होने से कोसी नदी का पानी सहजाधार होते खरीक,नवगछिया और बिहपुर के निचले इलाकों में फैल जायेगा और भीषण तबाही मचेगी. सैकड़ों बीघे में लगी केले, धान व सब्जी की फसल बर्बाद हो जायेगी. गेट क्षतिग्रस्त होने पर कोसी नदी का पानी अनुमंडल कार्यालय और आसपास के दियारा क्षेत्र में फैलने की संभावना प्रबल हो गयी है. खरीक सीओ ने कहा कि रिसाव रोकने के लिए हर संभव प्रयास किया जा रहा है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है