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कॉलेज के विकास में सहयोग का लिया संकल्प
डुमरांव राज के युवराज, विस के पूर्व उपाध्यक्ष व मुंगेर डीएम हुए शामिल आरा : महाराजा कॉलेज के रसायन विभाग के सभागार में कॉलेज के पूर्ववर्ती छात्र संघ का तृतीय सम्मेलन आयोजित हुआ. सम्मेलन का उद्घाटन मुख्य अतिथि डुमरांव राज के युवराज चंद्र विजय सिंह, विशिष्ट अतिथि बिहार विधान सभा के पूर्व उपाध्यक्ष अमरेंद्र प्रताप […]
डुमरांव राज के युवराज, विस के पूर्व उपाध्यक्ष व मुंगेर डीएम हुए शामिल
आरा : महाराजा कॉलेज के रसायन विभाग के सभागार में कॉलेज के पूर्ववर्ती छात्र संघ का तृतीय सम्मेलन आयोजित हुआ. सम्मेलन का उद्घाटन मुख्य अतिथि डुमरांव राज के युवराज चंद्र विजय सिंह, विशिष्ट अतिथि बिहार विधान सभा के पूर्व उपाध्यक्ष अमरेंद्र प्रताप सिंह, जिलाधिकारी मुंगेर डॉ उदय कुमार सिंह, पूर्व प्राचार्य प्रो सुरेंद्र नारायण सिंह एवं प्राचार्य डॉ राजेंद्र प्रसाद सिंह ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्वलित कर किया. कार्यक्रम की अध्यक्षता पूर्व प्राचार्य प्रो सुरेंद्र नारायण सिंह ने, स्वागत भाषण प्राचार्य प्रो राजेंद्र प्रसाद सिंह ने एवं मंच संचालन संघ के महासचिव डॉ निर्मल कुमार सिंह ने किया. इस मौके पर मानव संसाधन के विकास में विश्वविद्यालयों की भूमिका पर परिचर्चा आयोजित हुई.
मुख्य अतिथि युवराज चंद्र विजय सिंह ने कहा कि हर जगह शिक्षा के क्षेत्र में गिरावट हुई है. महाराजा कॉलेज भी इससे अछूता नहीं है. महाराजा कॉलेज के इतिहास गौरवशाली रहा है. पुन: वह इतिहास कायम हो इसके लिए हम सभी को आगे आना होगा. बिहार विधानसभा के पूर्व उपाध्यक्ष अमरेंद्र प्रताप सिंह ने कॉलेज के इतिहास पर प्रकाश डालते हुए महाराजा कॉलेज में पूर्व मे किस तरह शैक्षणिक कार्य संपादित होते थे. इस पर विस्तार से जानकारी दी.
उन्होंने परिचर्चा के विषय पर अपनी बातों को रखते हुए कहा कि विवि की कल्पना भारत की ही है. अपने यहां बिहार में कई प्राचीन विवि नालंदा, तक्षशिला और विक्रमाशिला विवि में विदेश के छात्र भी अध्ययन के लिए आते थे. सम्मेलन को पूर्व प्राचार्य डॉ गांधी जी राय, डॉ बलिराज ठाकुर, डॉ महेंद्र प्रसाद सिंह आदि ने संबोधित किया. इस अवसर पर सुदामा राय, डॉ नीरज सिंह, डॉ रामतवक्या सिंह, डॉ दिनेश्वर सिंह, डॉ शेखर कुमार, डॉ राम कुमार सिंह, प्रो सुशील कुमार सिंह, उमेश कुमार, डॉ किस्मत सिंह, भाई बरमेश्वर, चितरंजन प्रसाद सिंह, जनार्दन सिंह सहित कॉलेज के कई पूर्ववर्ती छात्र शिक्षक व कर्मचारी उपस्थित थे. धन्यवाद ज्ञापन डॉ मिथलेश पांडेय ने किया.
शैक्षणिक संस्थानों में छात्रों का नहीं आना चिंता का विषय : जिलाधिकारी : विशिष्ट अतिथि मुंगेर डीएम डॉ उदय कुमार सिंह ने अपने संबोधन में कहा कि पूर्ववर्ती छात्र किसी भी संस्थान की बुनियाद होते हैं और वे जहां भी रहते हैं वहां पर संस्थान का प्रतिनिधित्व करते हैं. उन्होंने महाराजा कॉलेज में अपने पढ़ाई के दौरान के संस्मरणों को सुनाया. डीएम डॉ सिंह ने कहा कि जीवन में हमेशा उच्च आदर्शों को रखना चाहिए. कठिन परिश्रम व उच्च सोच पालने की सलाह हमें शिक्षकों ने दी, जिसका परिणाम है कि आज मैं इस ओहदे पर हूं. कठिन परिश्रम से ही हर मुकाम को हासिल किया जा सकता है.
शॉर्टकट से सफलता नहीं मिलती. आगे उन्होंने कहा कि आज शैक्षणिक संस्थानों में छात्र नहीं आ रहे हैं, जो चिंता का विषय है. छात्रों की उपस्थिति कम होने पर ऐसे संस्थानों के औचित्य पर प्रश्न खड़ा होने लगा है. उच्च शिक्षा के गिरावट में हम सभी दोषी हैं. सिर्फ सरकार पर ही ठीकरा नहीं फोड़ा जा सकता. इसके लिए हम सभी को आगे आना होगा.
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