त्रासदी : घोषणाओं के बावजूद नहीं बन पाया स्टेडियम

पीरो अनुमंडल के खेलप्रेमियों की चिर-प्रतीक्षित मांग पर लगातार कई जनप्रतिनिधियों द्वारा पीरो के पड़ाव मैदान को स्टेडियम बनाने की घोषणाओं के बाद भी स्टेडियम बनने की आस पूरी नहीं हो पायी है़ हालांकि इसको लेकर स्थानीय खेलप्रेमियों में निराशा और आक्रोश तो काफी पहले से व्याप्त है, लेकिन विधान सभा चुनाव के नजदीक आने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 13, 2015 12:03 AM

पीरो अनुमंडल के खेलप्रेमियों की चिर-प्रतीक्षित मांग पर लगातार कई जनप्रतिनिधियों द्वारा पीरो के पड़ाव मैदान को स्टेडियम बनाने की घोषणाओं के बाद भी स्टेडियम बनने की आस पूरी नहीं हो पायी है़ हालांकि इसको लेकर स्थानीय खेलप्रेमियों में निराशा और आक्रोश तो काफी पहले से व्याप्त है, लेकिन विधान सभा चुनाव के नजदीक आने के साथ ही लोगों का आक्रोश अब सामने आने लगा है़ जनप्रतिनिधियों द्वारा स्टेडियम बनाने के किये गये खोखले वादे से नाराज खेलप्रेमियों का कहना है कि उनलोगों द्वारा आगामी चुनाव में इसको एक महत्वपूर्ण मुद्दा बनाया जायेगा़ खेलप्रेमियों की माने, तो पीरो के ऐतिहासिक पड़ाव मैदान को स्टेडियम बनाने की मांग स्थानीय लोगों द्वारा काफी पहले से की जा रही है़

लगभग 17 साल पहले जब राजद नेत्री श्रीमती कांति सिंह यहां की जनप्रतिनिधि थी, तब यहां के खेलप्रेमियों ने उनसे पड़ाव मैदान की दुर्दशा में सुधार कराने और यहां स्टेडियम बनाने की मांग की थी़ श्रीमती सिंह ने पड़ाव मैदान को स्टेडियम में बदलने का वादा किया था, लेकिन वे इस मैदान की महज चहारदीवारी ही करा पायी़ इसके बाद पीरो के विधायक और सांसदों के समक्ष स्थानीय लोगों द्वारा लगातार इस मांग को उठाया जाता रहा़ लेकिन इन 15 वर्षो में इस मैदान की हालत सुधारने की दिशा में कोई काम नहीं किया गया़ हाल के दिनों में विधायक सुनील पांडेय की ओर से लगभग साढ़े चौदह लाख की राशि पीरो पड़ाव मैदान को स्टेडियम बनाने के लिए दी गयी़ लेकिन इस राशि के खर्च होने के बावजूद इस मैदान को जलजमाव से भी मुक्ति नहीं मिल पायी है़

वादाखिलाफी से खिलाड़ियों में है निराशा
अनुमंडल मुख्यालय के एकमात्र खेल मैदान की जजर्र हालत से खिलाड़ियों और खेल प्रेमियों में निराशा और आक्रोश व्याप्त है़ खेलप्रेमी मेराज रंगीला, मो खुर्शीद, सोनू कुमार, रवि केशरी, विक्की, कृष्णा प्रसाद, भोला कुमार व राहुल राज का कहना है कि कई जनप्रतिनिधियों ने पड़ाव मैदान को स्टेडियम बनाने का आश्वासन दिया लेकिन किसी ने भी अपना वादा नहीं पूरा किया़ सरकार ने भी अनुमंडल मुख्यालयों में स्टेडियम बनाने की घोषणा की थी़ लेकिन सरकार की यह घोषणा भी महज हवा-हवाई साबित हुई़ हालत यह है कि हल्की बारिश से भी पूरे मैदान में जलजमाव हो जाता है़ इस कारण खिलाड़ियों को काफी परेशानी होती है़ मुख्यालय में कोई अन्य खेल का मैदान भी नहीं है, जहां खिलाड़ी प्रैक्टिस कर सक़े

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