कुवैत अग्निकांड में बिहार के मजदूरों की भी जान गयी है. कुवैत के अधिकारियों ने विदेशी श्रमिकों के आवास वाली एक इमारत में आग लगने की घटना में मारे गए 45 भारतीयों और फिलीपीन के तीन नागरिकों के शवों की पहचान कर ली है. मृतकों मे बिहार के दो श्रमिक भी शामिल हैं. जिनकी पहचान गोपालगंज के शिव शंकर सिंह और दरभंगा के काले खां (23) के रूप में हुई है. हालांकि बिहार श्रम संसाधन विभाग ने हादसे में केवल शिव शंकर सिंह (पासपोर्ट नबंर एन1651171 व सिविल आइडी नंबर 281022007645) की मौत होने की पुष्टि की है.
बिहार के दो श्रमिकों की मौत, शव लेकर आएंगे अधिकारी
विभाग के अधिकारियों के मुताबिक मृतक का शव शुक्रवार की देर शाम तक दिल्ली पहुंचने की संभावना है.उसके बाद शव को विमान से श्रम विभाग के अधिकारी पटना लेकर आयेगे. यहां से शव को सडक मार्ग से उनके घर पहुंचाया जायेगा. मृतक परिवार को प्रवासी मजदूर दुर्घटना बीमा योजना के तहत दो लाख रूपया मुआवजा मिलेगा.
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सबसे अधिक केरल के लोगों की मौत
विभाग ने शव को पहुंचाने के लिए और घटना का शिकार बने बिहार निवासियों की पहचान करने के लिए अधिकारियों की टीम बनायी गयी है. जो कुवैत में हुई घटना की पूरी जानकारी लेंगे. बता दें कि भारत के सबसे अधिक केरल निवासी 23 लोगों की मौत इस हादसे में हुई है.अबतक देशभर के 45 लोगों के मौत की आधिकारिक पुष्टि की गयी है.
शादी से पहले ही चली गयी जान
कुवैत में जान गंवाने वाले बिहारी श्रमिकों के घर में कोहराम मचा हुआ है. कुवैत की घटना जानकर ही वैसे तमाम बिहार के लोग परेशान हो गए थे जिनके अपने कुवैत में रह रहे थे. सभी अपने-अपने परिजन की खोज खबर लेने में जुट गए थे. वहीं जब दरभंगा में काले खां की मौत की खबर आयी तो पूरे घर में मातम पसर गया. काले खां छह साल से कुवैत में काम कर रहा था और अब उसकी शादी तय हो चुकी थी. अगले ही महीने वो शादी के लिए अपने घर लौटने वाला था लेकिन इस हादसे ने उसे मौत की नींद में सुला दिया. काले खां अपनी मां को खो चुका था और अपनी सतौली मां से उसकी बातचीत फोन पर होती थी. कुवैत के एक मॉल में वह काम करता था.