मणिपुर में हुई हिंसा व दो महिलाओं को निर्वस्त्र करके भीड़ के द्वारा सरेआम सड़क पर घुमाने व कथित रूप से हुए सामूहिक दुष्कर्म मामले को लेकर देश की राजनीति गरमायी हुई है. केंद्र सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव तक लाने के लिए विपक्षी दल गोलबंद हुए.वहीं इस मुद्दे पर बिहार का सियासी पारा भी चढ़ा हुआ है. भाजपा नेता विनोद शर्मा ने ही अब बीजेपी को कटघरे में खड़ा कर दिया है. उन्होंने अपना इस्तीफा दे दिया और इसके पीछे की वजह उन्होंने मणिपुर की घटना के बाद पीएम मोदी के द्वारा मणिपुर के सीएम के खिलाफ कोई ठोस कार्रवाई नहीं करने को बताया है. विनोद शर्मा ने जेपी नड्डा को लिखे इस्तीफे में खुद को भाजपा प्रवक्ता, मीडिया पैनलिस्ट, व प्रदेश कार्यसमिति सदस्य बताया है.
भाजपा नेता विनोद शर्मा ने पार्टी से अपना इस्तीफा दे दिया है. इस इस्तीफे के पीछे की वजह उन्होंने मणिपुर हिंसा को बताया है. अपना इस्तीफा उन्होंने पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को भेजा है जिसमें लिखा है कि मणिपुर में बेटियों को निर्वस्त्र करके जुलुस में सड़कों पर घुमाए जाने और मणिपुर के मुख्यमंत्री के द्वारा 80 दिनों तक कोई कार्रवाई नहीं किए जाने व प्रधानमंत्री के द्वारा मुख्यमंत्री को बर्खास्त नहीं किए जाने के कारण पूरे विश्व में भारत का चेहरा शर्मसार हुआ.
अपने पत्र में भाजपा नेता ने लिखा कि मैं अपने सभी पदों और पार्टी से इस्तीफा देता हूं. विनोद शर्मा आजतक जिस भाजपा में रहे उस पार्टी को उन्होंने राष्ट्र प्रेम, बेटी बचाओ और भारतीय सनातन संस्कृति का झांसा देने वाली पार्टी बताया. उन्होंने लिखा कि मैं कलंकित महसूस कर रहा हूं. साथ ही पीएम मोदी पर निशाना साधते हुए लिखा कि अगर प्रधानमंत्री में थोड़ी भी इंसानियत होती तो तत्काल मुख्यमंत्री बिरेन सिंह को बर्खास्त करते या खुद प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा दे देते.
वहीं इस इस्तीफे को लेकर अब सूबे की राजनीति भी गरमायी. जदयू ने इसी इस्तीफे का हवाला देकर भाजपा पर हमला बोला.एक ट्वीट जारी कर जदयू की ओर से कहा गया कि अब भाजपा नेता भी अपनी सरकार से लज्जित महसूस कर रहे हैं.डबल इंजन की सरकार के शर्मनाक रवैये से व्यथित होकर पार्टी से प्रवक्ता ने इस्तीफा दे दिया.
अब तो @BJP4India नेता भी अपनी सरकार से लज्जित महसूस कर रहे हैं।
— Janata Dal (United) (@Jduonline) July 27, 2023
डबल इंजन की सरकार के शर्मनाक रवैये से व्यथित होकर पार्टी से इस्तीफा देते हुए बिहार भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता विनोद शर्मा ने लिखा:- 'माणिपुर में बेटियों को पूर्ण नग्न कर भीड़ में सड़कों पर घुमायें जाने के कारण पूरे… pic.twitter.com/jKtYWXOdKl
इस इस्तीफे से जब राजनीति गरमाने लगी तो भाजपा के अन्य प्रवक्ताओं ने भी मोर्चा थामा भाजपा के प्रदेश प्रवक्ता अरविंद सिंह ने अपना बयान वीडियो के जरिए जारी किया. उन्होंने दावा किया कि विनोद शर्मा भाजपा के किसी पद पर नहीं थे. उन्होंने होर्डिंग पर जो पद लिखा है वो गलत व भ्रामक है. विनोद शर्मा को चैलेंज करते हुए कहा कि वो साबित करके दिखाएं, अगर उनके पास पार्टी की कोई चिट्ठी हो तो. मैं राजनीति से सन्यास ले लूंगा.
गौरतलब है कि मणिपुर में हुई हिंसा का एक वीडियो पिछले दिनों वायरल हुआ जिसमें भीड़ में शामिल कुछ लोग दो महिलाओं को निर्वस्त्र करके परेड कराया. महिला के साथ सरेआम मारपीट की जा रही थी और अश्लील हरकतें दोनों के साथ की जा रही थी. कथित रूप से दोनों के साथ सामूहिक दुष्कर्म की भी बात सामने आयी थी. वहीं इस वीडियो के सामने आते ही सियासी पारा भी चढ़ गया था.
विपक्षी दलों ने इस कुकृत्य को लेकर भाजपा को घेरा. जिसके बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने भी इसपर अपनी प्रतिक्रिया दी थी. उन्होंने घटना की निंदा करते हुए कठोर कदम उठाने की बात कही थी. मणिपुर के मुख्यमंत्री ने भी कड़ी कार्रवाई का आश्वासन दिया था और दोषियों को चिन्हित करके गिरफ्तारी शुरू कर दी गयी थी. विपक्ष की मांग रही कि खुद पीएम मोदी मणिपुर क्यों नहीं जाते.
वहीं मणिपुर मामले को लेकर अब संसद में भी विपक्षी दलों ने भाजपा सरकार को घेरना शुरू कर दिया है. विपक्षी दल इस मामले को लेकर एकजुट हुए हैं और संसद में सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पेश किया गया. इस अविश्वास प्रस्ताव से सरकार को कितना नुकसान पहुंचेगा ये तो वोटिंग के बाद पता चलेगा लेकिन मणिपुर मामले को विपक्ष हल्के में छोड़ने के मूड में नहीं दिख रही है. इस मामले पर सरकार को घेरने की पूरी तैयारी में विपक्षी खेमा है. विनोद शर्मा के इस्तीफे से अब सूबे की सियासी गलियारे में एक नयी चर्चा छिड़ गयी है.
बताते चलें कि हाल में ही मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी मणिपुर वीडियो मामले पर भाजपा को घेरा था. मणिपुर हिंसा को लेकर सरकार की लापरवाही की बात करते हुए नीतीश कुमार ने अविश्वास प्रस्ताव का समर्थन किया है.