पटना : भाजपा के बाद जदयू ने भी पार्टी से बगावत कर विधानसभा चुनाव लड़ने वाले अपने 15 नेताओं को छह साल के लिए निष्कासित कर दिया है. प्रदेश अध्यक्ष बशिष्ठ नारायण सिंह ने मंगलवार को यह आदेश जारी किया.
इनमें विधायक ददन पहलवान, पूर्व मंत्री भगवान सिंह कुशवाहा व रामेश्वर पासवान, पूर्व विधायक सुमित कुमार सिंह व रणविजय सिंह, महिला प्रकोष्ठ की पूर्व अध्यक्ष कंचन गुप्ता, अति पिछड़ा वर्ग आयोग के पूर्व सदस्य प्रमोद सिंह चंद्रवंशी, युवा जदयू के पूर्व कोषाध्यक्ष अरुण कुमार, औरंगाबाद के पूर्व जिला संयोजक तज्जमुल खां, रोहतास के पूर्व जिलाध्यक्ष अमरेश चौधरी, जमुई के पूर्व जिलाध्यक्ष शिवशंकर चौधरी, सिंकदरा से पूर्व प्रत्याशी सिंधु पासवान, डुमरांव के करतार सिंह यादव, बरबीघा के विधानसभा प्रभारी डाॅ राकेश रंजन और चेनारी सीट के कार्यकर्ता मुंगेरी पासवान शामिल हैं.
विधायक ददन पहलवान इस बार टिकट नहीं मिलने पर डुमरांव से पार्टी प्रत्याशी अंजुम आरा के खिलाफ निर्दलीय मैदान में हैं, जबकि जगदीशपुर से भगवान सिंह कुशवाहा पार्टी प्रत्याशी सुष्मलता कुशवाहा के खिलाफ लोजपा के उम्मीदवार हैं. सुमित कुमार सिंह चकाई से निर्दलीय व रणविजय सिंह गोह से रालोसपा के उम्मीदवार के तौर रूप में खड़े हैं.
इसी तरह आेबरा से प्रमोद कुमार चंद्रवंशी इस बार निर्दलीय लड़ रहे हैं. 2005 व 2010 वह वहां से जदयू के टिकट पर लड़े थे और बहुत ही कम अंतर हार गये थे. इस बार जदयू ने सुनील कुमार को टिकट दिया है. कंचन गुप्ता मुंगेर से एनडीए प्रत्याशी के खिलाफ मैदान में उतरी हैं. अमरेश चौधरी नोखा और डॉ राकेश रंजन बरबीघा से पार्टी प्रत्याशी के खिलाफ निर्दलीय मैदान में हैं.
मालूम हो कि भाजपा ने सोमवार को अपने प्रदेश उपाध्यक्ष राजेंद्र सिंह समेत नौ बागी नेताओं को पार्टी से निष्कासित कर दिया. इनमें रामेश्वर चौरसिया, अनिल कुमार, डॉ उषा विद्यार्थी, मृणाल शेखर, रवींद्र यादव, अजय प्रताप, श्वेता सिंह और इंदु कश्यप शामिल हैं.
Posted by Ashish Jha