पटना : भाजपा आगामी विधानसभा चुनाव को देखते हुए ग्रासरूट स्तर से ऊपर तक अपनी व्यापक तैयारी शुरू कर दी है. हाल में राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने समीक्षा बैठक करके पार्टी को चुनाव के लिए पूरी तरह से लगने का टास्क सौंप दिया है. इसके बाद पार्टी ने तीन स्तर पर तैयारी शुरू कर दी है. इसके तहत सभी बड़े नेताओं का पंचायत स्तर तक संपर्क अभियान शुरू करना, डिजिटल प्लेटफॉर्म पर खासतौर फोकस करना तथा सभी 243 विधानसभा सीटों की समीक्षा का काम शुरू करना है.
बिहार के चुनाव प्रभारी बनाये गये महाराष्ट्र के पूर्व सीएम देवेंद्र फडणवीस का सभी प्रमुख जिलों या क्षेत्रों का भ्रमण कार्यक्रम शुरू हो गया है. इसके अलावा प्रदेश अध्यक्ष डाॅ संजय जायसवाल, स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय व कृषि मंत्री प्रेम कुमार समेत अन्य सभी बड़े नेताओं का क्षेत्र भ्रमण के साथ पंचायत स्तर पर जनसंपर्क अभियान शुरू हो गया है. आने वाले समय में अन्य कई बड़े नेताओं का सिलसिलेवार तरीके से भ्रमण कार्यक्रम शुरू होने जा रहा है.
फर्क तो दिखता है नाम से हैशटैग अभियान: भाजपा के आइटी सेल ने भी डिजिटल कैंपेन के लिए बड़े स्तर पर तैयारी शुरू कर दी है. पिछले सरकार के किये सभी कार्यों की तुलना करके ‘फर्क तो दिखता है’ नाम से हैशटैग का उपयोग करके सभी सोशल मीडिया के फेसबुक, ट्विटर, इंस्टाग्राम समेत अन्य सभी माध्यमों पर अभियान शुरू हो गया है.
केंद्र सरकार के पहले और दूसरे कार्यक्रम में किये ऐतिहासिक कार्यों और निर्णयों को खासतौर से प्रचारित किया जा रहा है. साथ ही विरोधियों के सोशल मीडिया पर चलाये जा रहे तमाम कैंपेन या स्लोगन की समीक्षा करने के बाद इनका जवाब भी तैयार किया जा रहा है. भाजपा का एक दल सभी विधानसभा सीटों की गहन समीक्षा करने में जुटा हुआ है. किस सीट पर क्या स्थिति है, एनडीए के किस दल की क्या स्थिति बन रही है, भाजपा के लिए कौन-कौन सी सीटें ज्यादा फेवरेवल है समेत तमाम बातों पर समीक्षा की जा रही है.
इस समीक्षा के बाद ही सीटों के बंटवारे पर अंतिम निर्णय लिया जायेगा. इसी क्रम में भाजपा अपने लिये हॉट या प्रतिष्ठा वाली सीटों के अलावा जीतने की प्रबल संभावना वाली सीटों की भी पहचान करेगी. यह कसरत जल्द ही पूरी हो जायेगी. इसके बाद जदयू और लोजपा के साथ सीटों के तालमेल को लेकर अंतिम स्तर पर बात होगी. इस बार विधानसभा चुनाव में भाजपा विधानसभा सीटों के बजाय बूथ को जीतने का टारगेट लेकर चल रही है और इसके तहत ही तमाम कवायद चल रही है. उसका लक्ष्य 90 फीसदी सीटों को जीतने का है.
posted by ashish jha