चमक गया हमारा बिहार, इसरो के नाइट टाइम लाइट एटलस में बने अव्वल, केरल दूसरे नंबर पर
इसरो के नेशनल रिमोट सेंसिंग सेंटर की ओर से जारी रिपोर्ट में यह दावा किया गया है कि बिहार अब न केवल अंधेरे से बाहर आ चुका है, बल्कि देश के चमकते राज्यों में अव्वल बन गया है. रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत में एक दशक के भीतर नाइट टाइम लाइट्स में 43 फीसदी की बढ़ोत्तरी हुई है.
पटना. इसरो के नेशनल रिमोट सेंसिंग सेंटर की ओर से जारी रिपोर्ट में यह दावा किया गया है कि बिहार अब न केवल अंधेरे से बाहर आ चुका है, बल्कि देश के चमकते राज्यों में अव्वल बन गया है. रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत में एक दशक के भीतर नाइट टाइम लाइट्स में 43 फीसदी की बढ़ोत्तरी हुई है. दो वरिष्ठ सरकारी अधिकारियों ने इस संबंध में मीडिया को बताया कि नाइट टाइम लाइट्स की वृद्धि में तीन प्रमुख कारण हो सकते हैं, जिनमें सौभाग्य योजना, उज्जवला योजना और राष्ट्रीय राजमार्गों के निर्माण शामिल हैं. दुनिया भर के क्षेत्रों के आर्थिक विकास को ट्रैक करने के लिए अर्थशास्त्रियों द्वारा नाइट लाइट का उपयोग किया जाता है.
बिहार राज्य में वृद्धि 474% की रही
पिछले दशक 2012 से 2021 के लिए इसरो के नेशनल रिमोट सेंसिंग सेंटर एनआरएससी द्वारा तैयार किए गए नाइट टाइम लाइट एटलस एनटीएल एटलस के अनुसार राष्ट्रीय स्तर पर औसतन 45% की वृद्धि हुई है, जबकि बिहार राज्य में यह वृद्धि 474% की रही है, जो देश के अन्य राज्यों की तुलना में बहुत आगे हैं. बिहार की यह असाधारण उपलब्धि निश्चित रूप से विद्युत क्षेत्र में पिछले एक दशक में सुदृढ़ीकरण एवं विस्तार के लिए व्यापक स्तर पर किये गये कार्यों का प्रतिफल है. बड़े राज्यों में पिछले एक दशक में बिहार के बाद यदि केरल में 119% मध्यप्रदेश में 66% उत्तर प्रदेश में 100% एवं गुजरात में 58% है. आंकड़े स्पष्ट करते हैं कि बिहार में पिछले एक दशक में किस रिकॉर्ड गति से विद्युत सुधार की दिशा में कार्य किया है.
24 x 7 विद्युत उपलब्धता के लिए कंपनियों प्रयासरत
ऊर्जा विभाग के प्रधान सचिव और बीएसपीएचसीएल के अध्यक्ष सह प्रबंधनिदेशक संजीव हंस ने बताया है कि इसरो द्वारा जारी किये डिकेडल चेंज ऑफ लाइफ टाइम लाइट (एनटी एल) ओवर इंडिया फ्रॉम स्पेस 2012 से 2021 के वैज्ञानिक विश्लेषण के बाद तैयार किए गये हैं, बिहार के द्वारा जो 474% की वृद्धि प्रदर्शित किया गया है, वह स्पष्ट करता है कि राज्य में 24 x 7 विद्युत उपलब्धता के लिए विद्युत कंपनियों लगातार प्रयासरत है. आरएससी के द्वारा नासा एवं नेशनल ओशनिक एंड एटमॉस्फेयर एडमिनिस्ट्रेशन के आंकड़ों के आधार पर उपरोक्त सूचकांकों को तैयार किया गया है. एनआरएससी की रिपोर्ट में वैज्ञानिकों ने साल 2012 से 2021 तक राष्ट्रीय स्तर और जिला स्तर पर लाइट में आए बदलाव को लेकर एक गहन स्टडी की है.