बिहार: NIA ने PFI पटना मामले में 4 के खिलाफ पूरक आरोप पत्र किया दाखिल, 15 आरोपी की हुई गिरफ्तारी
Bihar News: NIA ने PFI पटना मामले में चार आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया है. मालूम हो कि इस मामले में 15 लोगों की गिरफ्तारी हुई है. गैरकानूनी और राष्ट्र-विरोधी गतिविधियों से संबंधित मामले में पूरक आरोप पत्र दाखिल किया गया है.
Bihar News: NIA ने PFI पटना के मामले में 4 के खिलाफ पूरक आरोप पत्र दायर किया है. जानकारी के अनुसार 15 लोगों की गिरफ्तारी की जा चुकी है. राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने गुरुवार को यह आरोप पत्र दाखिल किया है. गैरकानूनी और राष्ट्र-विरोधी गतिविधियों से संबंधित मामले में NIA ने यह कदम उठाया है. फिलहाल, पूर्वी चंपारण जिले के रहने वाले मोहम्मद तनवीर, मोहम्मद आबिद, मोहम्मद बेलाल और मोहम्मद इरशाद आलम के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल हुआ है. इसे एनआईए विशेष अदालत, पटना, बिहार में दायर किया गया है.
चार गिरफ्तार कार्यकर्ताओं के खिलाफ पूरक आरोप पत्र दायर
राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) ने बिहार में पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के चार गिरफ्तार कार्यकर्ताओं के खिलाफ एक पूरक आरोप पत्र दायर किया है. “गैरकानूनी और राष्ट्र-विरोधी गतिविधियों” से जुड़े मामले में इस प्रतिबंधित संगठन के चार गिरफ्तार कार्यकर्ताओं के खिलाफ कार्रवाई हुई है. मोहम्मद तनवीर, मोहम्मद आबिद, मोहम्मद बेलाल और मोहम्मद इरशाद आलम के खिलाफ पूरक आरोप पत्र दायर हुआ है.
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अब तक कुल 15 आरोपी गिरफ्तार
एनआईए के एक प्रवक्ता ने शुक्रवार को जानकारी दी है. उन्होंने बताया है कि चारों आरोपी अन्य आरोपियों के साथ मिलकर “हथियारों और गोला-बारूद की व्यवस्था करके हिंसक आपराधिक कृत्यों को अंजाम देने की योजना बना रहे थे और पीएफआई की विचारधारा एवं हिंसक उग्रवाद के एजेंडे का प्रचार-प्रसार कर रहे थे.” उन्होंने आगे बताया कि चारों आरोपियों पर भारतीय दंड संहिता (आईपीसी), गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) और शस्त्र अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत बृहस्पतिवार को आरोप लगाए गए है.
प्रवक्ता के अनुसार, पीएफआई की गैरकानूनी गतिविधियों को बढ़ावा देने और इस मामले में शामिल पीएफआई सदस्यों व अभियुक्तों को विदेश से अवैध धन पहुंचाने के आरोप में अब तक कुल 15 आरोपियों को गिरफ्तार किया जा चुका है. इनमें ये चार आरोपी भी शामिल हैं, जिनके खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया गया है. एनआईए प्रवक्ता के मुताबिक जांच में पाया गया है कि आलम उस आपराधिक गिरोह का सदस्य है, जो आतंक फैलाने और सांप्रदायिक सद्भाव बिगाड़ने के इरादे से एक विशेष समुदाय के युवाओं पर हमला करने और उनकी हत्या करने से संबंधित आपराधिक साजिश में शामिल था.
प्रवक्ता ने बताया कि, “तनवीर और आबिद के पास घृणा अपराध को अंजाम देने के लिए पहले से ही आतंकी साजोसामान मौजूद था और उन्होंने इसे गिरफ्तार आरोपियों में से एक याकूब खान को सौंपा था, जो हथियारों का प्रशिक्षण देने और रणनीति बनाने के मामले में पीएफआई का ‘मास्टर ट्रेनर’ है और जिसने प्रतिबंधित संगठन की हिंसक एवं गैरकानूनी गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए कई हथियार प्रशिक्षण सत्र आयोजित किए हैं.”
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मामले की जांच जारी
शुरुआत में यह मामला पिछले साल 12 जुलाई को 26 लोगों के खिलाफ पटना के फुलवारीशरीफ पुलिस थाने में दर्ज किया गया था. दस दिन बाद एनआईए ने इसकी जांच अपने हाथ में ले ली. इस साल सात जनवरी को एनआईए ने मामले के चार आरोपियों के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया था. वहीं, इस मामले की जांच जारी है.
देश विरोधी गतिविधियां संचालित करने के आरोप में गिरफ्तारी
बता दें कि PFI के ठिकानों पर NIA ने पहले छापेमारी की थी. इस छापेमारी में आतंकवाद निरोधी दस्ता (ATS) भी शामिल थी. मई महीने में कटिहार में भी छापेमारी की गयी थी. एनआइए की टीम ने घंटों तक यहां पीएफआइ के ठिकाने पर दबिश दी थी. इसके बाद जुलाई में दरभंगा में बहेरा थाना क्षेत्र में कार्रवाई की थी. इससे पहले भी कई बार अलग-अलग जगहों पर छापेमारी हुई है. पटना के फुलवारीशरीफ में काजी नगर दरभंगा कॉलोनी में आलम को कॉटेज में रहने वाले एक शख्स मोहम्मद रेयाज के घर छापेमारी की गई थी. मालूम हो कि फुलवारी शरीफ थाना में करीब 1 वर्ष पहले पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया संस्था की आड़ में देश विरोधी गतिविधियां संचालित करने के आरोप में कई लोगों की गिरफ्तारी की गई थी. वहीं इस मामले में लगातार कार्रवाई की जा रही है. फिलहाल, 4 के खिलाफ पूरक आरोप पत्र दाखिल किया गया है. 15 लोगों की गिरफ्तारी की जा चुकी है. गैरकानूनी और राष्ट्र-विरोधी गतिविधियों से संबंधित मामले में लगातार कार्रवाई की जा रही है. फिलाहल, मोहम्मद तनवीर, मोहम्मद आबिद, मोहम्मद बेलाल और मोहम्मद इरशाद आलम के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल किया गया है.
इनपुट: भाषा
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