नकली स्टांप कारोबारियों के खिलाफ होगी सख्त कार्रवाई
जिले में बड़े पैमाने पर सरकारी कामकाज और बैंक लोन के लिए नकली स्टांप का प्रयोग किया जा रहा है. जिलाधिकारी आरिफ अहसन ने इस मामले का उद्वेदन के लिए लगातार अभियान जारी रखने की बात कही.
शेखपुरा.जिले में बड़े पैमाने पर सरकारी कामकाज और बैंक लोन के लिए नकली स्टांप का प्रयोग किया जा रहा है. जिलाधिकारी आरिफ अहसन ने इस मामले का उद्वेदन के लिए लगातार अभियान जारी रखने की बात कही. चिन्हित करने के बाद सभी के खिलाफ प्राथमिक की दर्ज करने का निर्णय लिया है. डीएम ने इस संबंध में प्रधान जिला जज की अध्यक्षता में आयोजित जिला स्तरीय विधिक मॉनिटरिंग सेल की बैठक में जानकारी दी. प्रधान जिला जज की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में डीएम के अलावे एसपी बलराम कुमार चौधरी, जिला लोक अभियोजक उदय नारायण सिंहा, जिला अभियोजन पदाधिकारी संजय कुमार, जिला विधिज्ञ संघ के अध्यक्ष विनोद कुमार सिंह, महासचिव विपिन कुमार, संयुक्त सचिव चंद्रमौली यादव, पूर्व अध्यक्ष सरकारी वकील जीपी अरविंद कुमार सिंह सहित बड़ी संख्या में जिला प्रशासन के अधिकारी, अभियंता और न्यायिक पदाधिकारी मौजूद थे. बैठक की जानकारी देते हुए संयुक्त सचिव अनुसूचित जाति जनजाति अधिनियम के विशेष लोक अभियोजक चंद्रमौली यादव ने बताया कि बैठक के दौरान जिलाधिकारी ने जिले में बड़े पैमाने पर हो रहे नकली स्टांप के प्रयोग का मुद्दा उठाया. जिस पर सभी ने एक राय से कड़ी कार्रवाई करने की सहमति जताई. बैठक में न्यायालय परिसर में डाकघर की शाखा और बैंक एटीएम लगाने का भी निर्णय लिया गया. प्रधान जिला जिला जज ने बताया कि अधिवक्ताओं और न्यायालय कर्मियों की मांग पर न्यायालय परिसर में डाकघर खोलने को लेकर उन्होंने डाक महानिदेशक पटना को अनुशंसा युक्त पत्र भेज दिया है. जबकि बैंक एटीएम लगाने की जिम्मेदारी जिलाधिकारी पर डाल दी है. बैठक में न्यायिक कार्य की समीक्षा के दौरान सरकारी अधिकारियों खास कर पुलिस और डॉक्टर के न्यायालय में गवाही के लिए नहीं उपस्थित होने पर कड़ा एतराज जताया गया. प्रधान जिला जज ने कहा कि गवाही के लिए डॉक्टर जैसे प्रतिष्ठित व्यक्ति के खिलाफ न्यायालय से वारंट जारी करना शोभनीय नहीं है. उन्होंने बैठक में मौजूद सिविल सर्जन को इस संबंध में कड़ा निर्देश दिया. बैठक में सरकारी अधिकारियों सहित सभी गवाहों को पूरी सुरक्षा और सम्मान के साथ न्यायालय तक पहुंचाने की जिम्मेदारी एसपी को दी गई. इसी प्रकार बैठक में न्यायालय परिसर के साफ सफाई, वॉच टावर के निर्माण आदि कार्य में तेजी लाने को कहा गया. न्यायालय कर्मियों के लिए आवास निर्माण की भूमि का चयन भी जिलाधिकारी को शीघ्र पूरा कर लेने को कहा गया. न्यायिक पदाधिकारी के पुराने जर्जर भवन को ध्वस्त करने के बाद अभी तक उसे पर निर्माण कार्य शुरू नहीं करने पर भी चिंता जताई गई. बैठक में बताया गया कि न्यायालय में मुकदमा का निष्पादन तेजी से हो रहा है. सभी को इस कार्य में पूरी संवेदना के साथ पीड़ित को त्वरित न्याय प्रदान करने के कार्य में तत्पर रहने को कहा गया.
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