BPSC परीक्षा पास कर बिहार में अधिकारी बनने का बढ़ा क्रेज, IITan व लाखों की सैलरी वाले भी आजमा रहे भाग्य

बिहार सरकार के अधीन अधिकारी बनकर बिहार में काम करने का क्रेज हर साल बढ़ता ही जा रहा है. 689 पदों पर निकली नियुक्ति के लिए साढ़े चार लाख से अधिक आवेदन आए. सफल अभ्यर्थियों में लाखों के पैकेज छोड़कर आने वाले भी भरे हुए हैं.

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 4, 2022 5:17 PM

BPSC Exam News: बिहार लोक सेवा आयोग यानी बीपीएससी (BPSC) ने 66वीं संयुक्त परीक्षा का परिणाम जारी कर दिया है. बीपीएससी परीक्षा पास करके बिहार में अधिकारी बनने का क्रेज हर साल बढ़ता ही जा रहा है. 66वीं बीपीएससी में 689 पदों पर नियुक्ति निकाली गयी थी. जिसपर भाग्य आजमाने 4.50 लाख अभ्यर्थियों ने आवेदन किया था. वहीं बिहार सरकार के अधिकारी बनने का क्रेज कुछ इस कदर है कि इस बार टॉप 10 की सूची में आइआइटी से पास इंजीनियरों की भी संख्या अच्छी-खासी है. मोटी सैलरी वाले जॉब को छोड़कर अभ्यर्थी यहां किस्मत आजमा रहे हैं.

टॉपर भी आइआइटी के प्रोडक्ट

66वीं बीपीएससी का रिजल्ट जारी हुआ तो टॉप रैंक पर कब्जा जमाने वाले अधिकतर सफल अभ्यर्थियों का बैकग्राउंड बेहद मजबूत दिखा. 66वीं बीपीएससी (66th Bpsc) के टॉपर वैशाली के सुधीर कुमार बने. जो आइआइटी कानपुर से इंजीनियरिंग कर चुके हैं. 10वीं रैंक लाने वाले अमर्त्य कुमार आदर्श 9 साल तक वायु सेना में तैनात रहे. उसके बाद बिहार वित्त सेवा में अपनी सेवा दी. लेकिन बीपीएससी के क्रेज ने उन्हें अधिकारी बना दिया.

लाखों का पैकेज छोड़ बन रहे अधिकारी

नौवीं रैंक पर कब्जा जमाने वाले आयुष बंगलुरु में सॉफ्टवेयर इंजीनियर की नौकरी कर चुके हैं. आठवां रैंक लेकर आए सदानंद कुमार आइआइटी गुवाहाटी के प्रोडक्ट हैं. छठी रैंक पर काबिज मोनिका श्रीवास्तव आइआइटी गुवाहाटी से इंजीनियरिंग करके सॉफ्टवेयर इंजीनियर की नौकरी कर रही थीं. चेन्नई में वो 35 लाख सलाना के पैकेज पर जॉब कर रही हैं. लेकिन बिहार में अधिकारी बनने के क्रेज ने उनसे निरंतर मेहनत जारी रखवाया और सफलता मिलने के बाद अब वो अधिकारी बन चुकी हैं.

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आइआइटीएन कोचिंग चलाते हुए भी बने अधिकारी

66वीं बीपीएएसी में सातवीं रैंक लेकर आए विनय कुमार आइआइटी दिल्ली से पास हुए सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं. वो शिक्षा के क्षेत्र में करियर लेकर आए और पटना व यूपी में अपना कोचिंग सेंटर खोल दिया. पढ़ाते-पढ़ाते ही वो अधिकारी बन गये हैं.

साढ़े चार लाख अभ्यर्थियों ने आजमाया भाग्य

बता दें कि प्रारंभिक परीक्षा में 8997 अभ्यर्थी सफल हुए थे. मेन्स परीक्षा में 7285 परीक्षार्थी शामिल हुए थे. 1838 अभ्यर्थी मुख्य परीक्षा में सफल हुए. 1714 अभ्यर्थी इंटरव्यू का हिस्सा बने. 689 पदों के लिए 4.50 लाख अभ्यर्थियों ने आवेदन किया था.

Published By: Thakur Shaktilochan

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