बिहार और पश्चिम बंगाल के बीच कारोबार का नया रास्ता खुलने वाला है. बताया जा रहा है कि कृषि के क्षेत्र में विकास करने के लिए बिहार और पश्चिम बंगाल मिलकर काम करेंगे. इसके लिए पश्चिम बंगाल एवं बिहार मिल कर सब्जी के उत्पादन, विपणन एवं प्रसंस्करण पर अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन आयोजित करने पर विचार कर रहे हैं. इस दिशा में आगे बढ़ने को बिहार के कृषि मंत्री कुमार सर्वजीत ने सोमवार को कोलकाता में पश्चिम बंगाल के कृषि मंत्री सोवेनदेव चट्टोपाध्याय से मुलाकात की. कृषि मंत्री ने पड़ोसी राज्य से मांग की है कि बिहार के जैविक उत्पादों के निर्यात के लिए वह जलमार्ग एवं कार्गों की सुविधा में सहयोग करे.
पश्चिम बंगाल सरकार चाय एवं अनानास के विपणन एवं प्रसंस्करण में सहयोग करेगी, तो बिहार के चाय-अनानास से जुड़े किसानों -व्यवसायियों को लाभ पहुंचेगा. बिहार भी सब्जी उत्पादन में तीसरा स्थान रखता है. जैविक उत्पाद की जांच के लिए एनएबीएल प्रयोगशाला की सुविधा अभी पश्चिम बंगाल से ली जा रही है. पश्चिम बंगाल के प्रधान सचिव कृषि ओंकार सिंह मीणा ने अपने प्रदेश में यांत्रिकीकरण योजना के क्रियान्वन की जानकारी दी. बिहार राज्य बीज निगम के पदाधिकारियो की टीम जल्द ही पश्चिम बंगाल का दौरा कर बीज उत्पादन, प्रसंस्करण और विपणन की प्रक्रिया देखेगी. बिहार में भी 100 प्रतिशत बीज की उपलब्धता सुनिश्चित की जायेगी.
बिहार में कृषि और इससे जुड़े व्यापार को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार के द्वारा लगातार बड़े स्तर पर कदम उठाये जा रहे हैं. राज्य के कृषकों को लगातार प्रशिक्षण देकर नकदी फसलों की उपज बढ़ाने के लिए लगातार प्रोत्साहित भी किया जा रहा है. इसके साथ ही, किसानों को आसान दरों पर कृषि लोन भी दिया जा रहा है.