पानी की कमी से झुलस रही फसल

उदासी. सितंबर में 194.3 एमएम बारिश नहीं हुई, तो फसलों पर पड़ेगा बुरा असर अगस्त में 305.8 एमएम की जगह 188.23 ही हुई है बारिश बक्सर : सितंबर माह में 194.3 एमएम बारिश नहीं हुई, तो हजारों एकड़ में लगी खरीफ फसल बर्बाद हो जायेगी. जिसका असर उत्पादन पर पड़ेगा. खरीफ फसल में पानी की […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | September 17, 2017 6:29 AM

उदासी. सितंबर में 194.3 एमएम बारिश नहीं हुई, तो फसलों पर पड़ेगा बुरा असर

अगस्त में 305.8 एमएम की जगह 188.23 ही हुई है बारिश
बक्सर : सितंबर माह में 194.3 एमएम बारिश नहीं हुई, तो हजारों एकड़ में लगी खरीफ फसल बर्बाद हो जायेगी. जिसका असर उत्पादन पर पड़ेगा. खरीफ फसल में पानी की आवश्यकता ज्यादा होती है.
खासकर धान की खेती में. सितंबर माह में 15 दिन बीत जाने के बाद महज 90.67 एमएम ही बारिश हो पायी है.किसान आसमान की तरफ टकटकी लगाये हुए हैं. किसानों को धान की फसल चौपट होने का डर सता रहा है. हालत यह है कि पंपिंग सेट चलाकर किसान धान की फसल बचाने में जुटे हुए हैं. इस माह अगर अच्छी बारिश नहीं हुई, तो जिले के करीब चार लाख किसान को दोहरी मार झेलने को विवश होंगे. किसानों को धान की सिंचाई के लिए सरकार की तरफ से मिलनेवाली डीजल अनुदान की राशि का रवैया भी सुस्त है. किसान बारिश को लेकर इंद्र भगवान से प्रार्थना कर रहे हैं. शुरुआत में बारिश अच्छी होने के कारण किसानों में आशा की किरण जगी थी, लेकिन जुलाई माह से घटते वर्षापात ने किसानों को चिंतित कर दिया है.
उत्पादन पर पड़ेगा बुरा असर, फसल बचाने की किसान कर रहे जद्दोजहद : बारिश अच्छी न होने के कारण धान के पैदावार में भी कमी आयेगी. उत्पादन क्षमता बढ़ाने के लिए अच्छा बारिश की जरूरत है. किसान पंपसेट चलाकर किसी तरह फसल को बचाने की जद्दोजहद कर रहे हैं. पिछले साल की अपेक्षा इस साल बारिश कम हुई है. अंतर यही है कि शुरुआत में अच्छी बारिश हुई थी. कृषि विभाग के अनुसार सितंबर की बारिश से ही धान का भविष्य तय होगा.
इससे यह पता चल जायेगा कि जिले में इस बार धान का पैदावार कैसा होगा. धान की फसल को पानी की सबसे ज्यादा जरूरत इसी माह में होती है. अगर इस माह में बारिश नहीं होगी, तो धान की लहलहाती फसल सूख कर बर्बाद हो जायेगी. अक्तूबर में औसत से भी कम वर्षा हुई तो पैदावार घट जायेगा.
भरपूर पानी की जरूरत
सितंबर माह में धान की फसल को अच्छी बारिश की जरूरत पड़ती है. सितंबर माह की बारिश से ही धान की पैदावार का पता चल जाता है कि अच्छा होगा या बुरा. सितंबर माह की बारिश धान के लिए संजीवनी का काम करती है.
देव करण शर्मा , कृषि वैज्ञानिक
माहवार बारिशजरूरत जून 117.9 58.6 एमएम
जुलाई 277.2 121.4 एमएम
अगस्त 305.8 188.23 एमएम
सितंबर 194.3 अब तक 90.67 एमएम ही बारिश हुई है.

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