मेटल डिटेक्टरवाले विशेष दरवाजे से लोगों को मिला प्रवेश

चप्पे-चप्पे पर पुलिस का रहा पहरा बक्सर, कोर्ट : सोमवार को बक्सर व्यवहार न्यायालय एक दुर्ग के समान दिखायी दिया. न्यायालय को उड़ाने की धमकी एवं जज से मांगी गयी रंगदारी के बाद न्यायालय में रोज की सुरक्षा से काफी सख्त पहरा सोमवार को रहा. चप्पे-चप्पे पर तैनात पुलिस के जवान हर एक व्यक्ति की […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 25, 2015 12:08 AM
चप्पे-चप्पे पर पुलिस का रहा पहरा
बक्सर, कोर्ट : सोमवार को बक्सर व्यवहार न्यायालय एक दुर्ग के समान दिखायी दिया. न्यायालय को उड़ाने की धमकी एवं जज से मांगी गयी रंगदारी के बाद न्यायालय में रोज की सुरक्षा से काफी सख्त पहरा सोमवार को रहा. चप्पे-चप्पे पर तैनात पुलिस के जवान हर एक व्यक्ति की जांच कर न्यायालय में प्रवेश दे रहे थे.
मुख्य द्वार लगभग बंद सा रहा. प्रवेशवाली गाड़ियों को रस्से के सहारे धीरे-धीरे अंदर जाने दिया गया. मुख्य द्वार पर ही एक अन्य विशेष द्वार सोमवार को बनाया था, जो अमूमन एयरपोर्ट, बड़े स्टेशनों के अलावा विशेष जगहों पर ही दिखायी देता है. मेटल डिक्टेक्टर से लैस उसी दरवाजे के सहारे सोमवार को दिन भर लोगों का आना-जाना हुआ.
अंदर प्रवेश करने के साथ ही प्रत्येक व्यक्ति की कड़ाई से जांच की गयी. उसके बाद ही अंदर जाने दिया गया. महिलाओं के लिए दर्जनों की तादाद में महिला पुलिसकर्मियों की नियुक्त की गयी है.वहीं, अंदर का नजारा भी और दिनों की तुलना में एक दम अलग दिखायी दिया तथा दर्जनों के तादाद में सैफ के जवान पूरे न्यायालय में दिन भी पैट्रोलिंग करते रहे.
जिला जज ने किया कोर्ट : जिला एवं सत्र न्यायाधीश प्रदीप कुमार मलिक ने सोमवार को अपराह्न् लगभग दो बजे से न्यायालय के कार्यवाही को संपादित किया. वे पटना एक आयोजन में सम्मिलित होने के लिए गये हुए थे. गौरतलब हो कि विगत 19 अगस्त को एक पत्र द्वारा उनसे 10 लाख की रंगदारी मांगी गयी थी तथा नहीं देने पर न्यायालय को बम से उड़ाने की धमकी भी दी गयी थी. पटना उच्च न्यायालय के आदेश पर वे विशेष सुरक्षा के साथ पहुंचे तथा प्रतिदिन की तरह अपने कार्यवाही को पूरा किया.
करायी जायेगी जांच : महासचिव अधिवक्ता द्वारा मांगी गयी रंगदारी के मामले में गिरफ्तार सौरभ श्रीवास्तव के बारे में बार एसोसिएशन के महासचिव गणोश ठाकुर ने बताया कि इस संबंध में जांच करायी जायेगी. अभी मामला पुलिस के पास अनुसंधान के लिए है. ऐसे में सभी तथ्य सामने आ जायेंगे. वैसे अधिवक्ता के प्रमाण पत्रों की जांच के लिए वे अधिकारियों को लिखेंगे.

Next Article

Exit mobile version