ब्रह्मपुर में यूरिया नहीं मिलने से किसान परेशान
प्रखंड में पर्याप्त यूरिया के विभागीय दावे के बीच किसानों में इसके लिए मारामारी मची है
यूरिया को लेकर किसान परेशान
18 अगस्त- फोटो- 22- बिस्कोमान भवन पर यूरिया को लेकर उमड़ी भीड़- मनीष
ब्रह्मपुर. प्रखंड में पर्याप्त यूरिया के विभागीय दावे के बीच किसानों में इसके लिए मारामारी मची है. दुकानदारों द्वारा महंगे दाम पर यूरिया बेचा जा रहा हैं. जिन किसानों ने धान की रोपनी कर ली है, उनके लिए इसका छिड़काव करना जरूरी है. इसलिए ज्यादा कीमत देकर खरीदना किसानों की मजबूरी है. दुकानदारों पर कार्रवाई नहीं होने उनके हौसले बुलंद हैं. अधिकारी बताते हैं कि यूरिया की किल्लत नहीं है. सरकारी दर पर यूरिया की बिक्री करने का निर्देश दुकानदारों को दिया गया है. फिर भी किसान यूरिया के लिए मारे- मारे फिर रहे हैं. दुकानदार महंगे दाम पर यूरिया की बिक्री कर रहे हैं प्रखंड में यूरिया की कालाबाजारी हो रही है. किसानों के बीच यूरिया के लिए त्राहिमाम की स्थिति है, जबकि यह मौसम धान में यूरिया के छिड़काव के लिए उपयुक्त है. उर्वरक के दुकानदार सामान्य स्थिति में यूरिया नहीं होने की बात कह रहे हैं, जबकि बैकडोर से अधिक रुपये प्रति बोरी की दर से बेची जा रही हैं. सूत्रों का कहना है कि बड़े किसान यूरिया स्टाक कर रहे हैं. बाद में खाद मिलेगी या नहीं, इसे लेकर चिंतित हैं. इसके साथ ही कुछ दुकानदार जो काफी सुदूर इलाके के हैं, उनका ट्रांसपोर्टेशन खर्च ज्यादा पड़ता है. ऐसे में वह सरकारी दर से ज्यादा दाम में बेचते हैं.बिस्कोमान की गोदाम पर किसनों की भीड़ ने खोली सरकारी दर पर खाद की बिक्री की पोल
चिलचिलाती धूप वह गर्मी में किसानों द्वारा खाद के लिए रघुनाथपुर स्थित बिस्कोमान के गोदाम पर सुबह से ही महिला व पुरुष किसानों द्वारा यूरिया के लिए लाइन में लगा लग जा रहे हैं. सोचने वाली बात यह है कि अगर कृषि विभाग द्वारा उर्वरक के दुकानों पर सरकारी दर पर यूरिया की बिक्री जांच होती तो किसनों को दोपहर तक तेज धूप में भी खाद लेने के लिए लाइन लगना न पड़ता भले ही कृषि विभाग द्वार कहां जा रहा किसानों को दुकानदारों द्वारा सरकारी दर पर खाद उपलब्ध कराया जा रहा हैं लेकिन बिस्कोमान पर किसनों की भीड़ ने दुकानों पर सरकारी दर पर खाद बिक्री होने तमाम दावे की पोल खोल दी है.
हमारे पास ऐसा कोई शिकायत नहीं आया है कि दुकानदारों द्वारा अधिक दामों पर यूरिया की बिक्री की जा रही है व बिस्कोमान के गोदाम पर किसानों द्वारा भीड़ लगाई जा रही है तो इसमें हम क्या कर सकते हैं.
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