कैंसर के इलाज के लिए अब नहीं जाना होगा बाहर, दरभंगा के डीएमसीएच में शुरू हुई कैंसर क्लीनिक सेवा

राज्य स्वास्थ्य समिति, होमी भाभा कैंसर अस्पताल, व अनुसंधान केंद्र मुजफ्फरपुर के संयुक्त तंत्र तत्वावधान में डीएमसीएच में कैंसर क्लीनिक की स्थापना की गई है गई है. इसे डीएमसीएच के कैंसर वार्ड के बगल में बनाया गया है.

By Prabhat Khabar News Desk | January 1, 2024 8:52 PM

दरभंगा. तिरहुत, दरभंगा और कोसी प्रमंडल सहित नेपाल के तराई इलाके के लोगों को अब कैंसर के इलाज व तत्काल जांच रिपोर्ट के लिए बाहर नहीं जाना पड़ेगा. पूर्व में कैंसर से ग्रसित मरीजों को इलाज के लिए सूबे से बाहर जाना पड़ता था. साथ ही कई महत्वपूर्ण जांच के लिए एक पखवाड़ा तक इंतजार करना पड़ता था. राज्य स्वास्थ्य समिति, होमी भाभा कैंसर अस्पताल, व अनुसंधान केंद्र मुजफ्फरपुर के संयुक्त तंत्र तत्वावधान में डीएमसीएच में कैंसर क्लीनिक की स्थापना की गई है गई है. इसे डीएमसीएच के कैंसर वार्ड के बगल में बनाया गया है.

जल्द मिल जायेगी जांच रिपोर्ट

कैंसर क्लिनिक सेवा को 70 लाख रुपये की लागत से बनाया गया है. इसे छह माह के अंदर में बनाया गया है. इसमें जांच के लिए आधुनिक मशीन लगायी गयी हैं. कैंसर सेवा केन्द्र में कई प्रकार की सुविधाएं उपलब्ध हैं. इसमें डे-केयर, ब्रैस्ट व सर्वाइकल कैंसर की स्क्रीनिंग, बायोप्सी टेस्ट एफएनएसी, मेडिकल और सर्जिकल ऑन्को एक्सपर्ट के अलावा ऑन्कोलॉजी कंसल्टेंट के साथ वीडियो सुविधा उपलब्ध है. आने वाले दिनों में पॉलीएटिव केयर, ओंको सर्जरी व हिस्टोपैथो सुविधा भी शुरू की जाएगी ताकि किसी भी मरीज का इलाज किया जा सके. इस केन्द्र के खुलने से सबसे अधिक लाभ यह होगा कि जांच रिपोर्ट जल्द मिल जायेगा.

जांच रिपोर्ट में लगता था समय

पूर्व में बायोप्सी व अन्य जांच की रिपोर्ट आने में काफी समय लग जाता था. इस वजह से समय पर मरीज का इलाज शुरु नहीं हो पाता था. इसका खामियाजा मरीजों को भुगतना पड़ता था. जांच रिपोर्ट आने पर पॉजिटिव आने वाले मरीजों का समय पर इलाज शुरु किया जा सकेगा. इससे बीमारी के बढ़ने वाले खतरे पर ब्रेक लगेगा. अब कैंसर जैसी बीमारियों का रिपोर्ट तत्काल मिलने से उनका इलाज समय पर शुरू किया जा सकता है.

Also Read: बिहार में तेजी से बढ़ रहे हैं मुंह के कैंसर के मरीज, एक साल के अंदर मुजफ्फरपुर में मिले सबसे ज्यादा मामले

प्रतिदिन लगभग तीन दर्जन लोगों की स्क्रीनिंग

पूर्व में कैंसर जैसी घातक बीमारी से ग्रसित मरीज का जांच रिपोर्ट एक पखवाड़ा में मिलता था. इस वजह से समय पर उनका इलाज भी शुरू नहीं हो पता था. इस केंद्र के खुलने से न सिर्फ मिथिला बल्कि नेपाल के तराई क्षेत्र में रहने वाले लोगों को काफी लाभ मिलेगा. बताया जाता है कि पूर्व में प्रतिदिन लगभग तीन दर्जन लोगों की स्क्रीनिंग की जाती थी. नए केंद्र के खुलने के बाद लगभग दो सौ लोगों की स्क्रीनिंग प्रतिदिन की जाएगी. साथ ही उन्हें दिन में सेवा केंद्र में भर्ती भी किया जा सकता है. वही कीमोथेरेपी की भी सुविधा उन्हें दी जाएगी.

Next Article

Exit mobile version