सत्याग्रह संवाद यात्रा : बाढ़-सुखाड़ से निबटने को ठोस पहल की जरूरत : मेधा पाटकर

मोतिहारी : नर्मदा बचाओ आंदोलन की नेता मेधा पाटकर ने कहा कि बाढ़ और सुखाड़ से निबटने के लिए ठोस पहल की जरूरत है. मजदूर और किसान बेहाल हैं. उनके लिए कोई ठोस पहल नहीं हो रही है. वह रविवार को एमजेके इंटर कॉलेज में सत्याग्रह शताब्दी संवाद यात्रा तैयारी समिति की ओर से आयोजित […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 22, 2018 7:17 PM

मोतिहारी : नर्मदा बचाओ आंदोलन की नेता मेधा पाटकर ने कहा कि बाढ़ और सुखाड़ से निबटने के लिए ठोस पहल की जरूरत है. मजदूर और किसान बेहाल हैं. उनके लिए कोई ठोस पहल नहीं हो रही है. वह रविवार को एमजेके इंटर कॉलेज में सत्याग्रह शताब्दी संवाद यात्रा तैयारी समिति की ओर से आयोजित खेती किसानी शिक्षा और पानी विषयक आमसभा को संबोधित कर रही थीं.

उन्होंने कहा कि निलहो के खिलाफ जो आवाज उठी थी, उसकी जरूरत आ गयी है. महात्मा गांधी ने जो सपना देखा था, उसे सरकार पूरी नहीं कर पायी. बदलते समय में जाति और धर्म से ऊपर उठ कर काम करने की जरूरत है. उन्होंने केंद्र सरकार पर सत्याग्रह के मुद्दे से ध्यान हटाने का आरोप लगाया. साथ ही कहा कि मौजूदा समय में सरकार कॉरपोरेट घरानों को फायदा पहुंचाने का काम कर रही है.

इस अवसर पर राष्ट्रीय सेवा दल के अध्यक्ष सुरेश खैरनार ने मौजूदा व्यवस्था पर सवाल उठाया. उन्होंने कहा कि देश काफी नाजुक दौर से गुजर रहा है. देश में अघोषित आपातकालीन जैसी स्थिति बनी हुई है. सभा की अध्यक्षता रमन कुमार ने की. संचालन पंकज ने किया. विषय प्रवेश व स्वागत सामाजिक कार्यकर्ता अमर ने किया.

पांच अप्रैल को भितिहरवा से चली यात्रा पहुंची मोतिहारी

पांच अप्रैल को पश्चिमी चंपारण के भितिहरवा आश्रम से चली संवाद यात्रा रविवार को मोतिहारी पहुंची. यात्रा का मोतिहारी में अंतिम पड़ाव था. 17 दिनों की इस यात्रा में किसानों और मजदूरों की समस्याओं का अध्ययन किया गया. 27 पड़ाव हुए. 44 चौपालों में विस्तार से समस्याएं सुनी गयीं.

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