मोतिहारीः गांजे के साथ पकड़े गये महिपाल व अजय को लेकर एसएसबी की कार्रवाई संदेह के घेरे में आ गयी है. ग्रामीणों का कहना है, दोनों निदरेष हैं. उन्हें छोड़ा जाना चाहिए, वहीं, एसएसबी अधिकारियों का कहना है, दोनों पिता-पुत्र हैं. इन्हें सीमा के पास से गांजे के साथ रंगे हाथों पकड़ा गया है. इस वजह से इन्हें छोड़ा नहीं जा सकता है. ग्रामीण दोनों को छुड़ाने के लिए सुबह से आंदोलन कर रहे हैं.
देर रात तक ग्रामीण जितना थाने पर जमा थे. इनका कहना था, एसएसबी के लोग दोनों को बलि का बकरा बना रहे हैं. रात में सोते समय दोनों को घर से उठा कर लाया गया है. वहीं, रात आठ बजे के आसपास डीएसपी उमेश्वर चौधरी थाने पहुंचे. उन्होंने महिपाल की पत्नी व एसएसबी के अधिकारियों से मामले में लिखित आवेदन लिया. इस पर आगे की कार्रवाई रविवार को होगी. फिलहाल दोनों को जेल भेज दिया गया है.
जानकारी के मातुबिक, महिपाल बीजबनी के बैरिया टोला का रहनेवाला है. उसके साथ उसका बेटा अजय भी रहता है. एसएसबी की 13वीं बटालियन के अठमुहान कैंप के अधिकारियों का कहना है, दोनों को बॉर्डर के पिलर के पास से पकड़ा गया है. वहीं, ग्रामीणों का कहना है, एसएसपी के जवान शुक्रवार की रात उनके गांव पहुंचे थे. इन लोगों ने महिपाल के घर का दरवाजा खटखटाया और जब महिपाल ने दरवाजा खोला तो उसे व उसके बेटे अजय को पकड़ लिया गया. शनिवार की सुबह जैसे ही इस बात की जानकारी ग्रामीणों को मिली. इन लोगों एसएसबी की 13वीं बटालियन का कैंप घेर लिया. इस दौरान ये लोग दोनों को निदरेष बता रहे थे. साथ ही एसएसबी के खिलाफ नारेबाजी कर रहे थे. ग्रामीणों ने एसएसबी के असिस्टेंट कमांडेंट सौरभ को बंधक बना लिया. दोनों को छोड़ने की मांग करने लगे.
हंगामा बढ़ते देख एसएसबी ने आरोपितों को जितना थाना को सुपुर्द कर दिया, तब सैकड़ों ग्रामीण जितना थाना भी पहुंच आरोपितों को छोड़ने की मांग करने लगे. मामले को तुल पकड़ता देख जितना पुलिस व एसएसबी ने घोड़ासहन थाना में डीएसपी सिकरहना के समझ कानूनी प्रक्रिया अपनाये जाने की बात कह घोड़ासहन थाना पहुंचे.
वहीं, इलाके के गणमान्य लोगों व जन प्रतिनिधियों को कहना था, इन लोगों को एसएसबी की ओर से कहा गया था, हम दोनों को कैंप पर ले जाकर छोड़ देंगे. मामले की तहकीकात करने बीजबनी पहुंचे जितना थानाध्यक्ष को दर्जनों लोगों ने बताया कि एसएसबी गांजा तस्करी के झूठे आरोप में निदरेष को फसाना चाहती है. उसे रात में घर से जगाकर ले जाया गया है. फिर सैकडों ग्रामीणों ने थाना परिसर पहुंच दोनों को छाड़ने की मांग करने लगे. मामला बिगड़ते देख जितना थानाध्यक्ष अमरेंद्र कुमार साह, झरौखर थानाध्यक्ष अमरेंद्र कुमार व घोड़ासहन थानाध्यक्ष ललित कुमार ने एसएसबी अधिकारियों सहित घोड़ासहन थाना पहुंचे. संवाद प्रेषण तक घोड़ासहन थाना का घेराव कर रहे सैकड़ों लोग डीएसपी सिकरहना को बुलाने की मांग कर रहे थे. इस बाबत पूछने पर एसएसबी कमांडेंट विक्रम सिंह ठाकुर ने बताया कि मेरी जानकारी के अनुसार दो लोगों को बॉर्डर से पकड़ा गया है. फिर भी बिना पुलिस की सहायता लिये हम किसी को भी घर से नहीं पकड़ सकते. मामले की सत्यता पता लगाने के बाद आगे की कार्रवाई की जायेगी.