बेतियाः ओह ! बच गयी बड़ी मछली .. निगरानी टीम के नेतृत्व कर रहे डीएसपी म. जमरूद्दीन ने उक्त बातें कही. गुरुवार को जब उनसे इस कार्रवाई के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कुछ इसी अंदाज में अपनी बातों को बयां किया. उन्होंने कहा कि टीम सीडीपीओ बेतिया को ही पकड़ने के लिए आयी थी. लेकिन प्रधान सहायक धीरेंद्र महतो ही पकड़े गये.
काफी देर तक टीम सीडीपीओ का कार्यालय में टीम इधर-उधर घूम कर समय बिताती रही. लेकिन सीडीपीओ देर दोपहर तक अपने कार्यालय में नहीं आयी. जानकारी के अनुसार इसी बीच शिकायतकर्ता सेविका शहाना प्रवीण को डीडीसी से कुछ काम होने के चलते काफी समय निकल गया. अंत में वे खुद देरी से बेतिया प्रखंड कार्यालय पहुंची. सेविका शबाना प्रवीण ने बताया कि सीडीपीओ काफी दिनों से उसे तंग कर रही थी. इसकी शिकायत उसने जिलाधिकारी से भी की. लेकिन कोई कार्रवाई नहीं होने के कारण उसने थक-हार कर निगरानी से शिकायत की.
प्रखंड कार्यालय में मची रही अफरातफरी
निगरानी के इस कार्रवाई से बेतिया प्रखंड कार्यालय में देर संध्या तक अफरा-तफरी का माहौल रहा. सीडीपीओ कार्यालय में प्रतिनियुक्त पर्यवेक्षिका सहित सभी कर्मी इस घटना पर अफसोस जाहिर करते नजर आये. इसी दौरान जब पत्रकार सीडीपीओ कार्यालय में पहुंचे तो एक पर्यवेक्षिका ने इस खबर को नहीं प्रकाशित करने के लिए काफी जिद की. बार-बार सभी यही कर रहे थे कि यह घटना साजिश के तहत किया गया है.
केंद्र संख्या 92 को ले हुआ मुकदमा
शिकायतकर्ता सेविका शहाना प्रवीण ने बताया कि केंद्र संख्या 92 को लेकर काफी दिनों से जांच चल रहा था. उन्होंने बताया कि सीडीपीओ बार-बार पैसा के लिए इस केंद्र की जांच भी कर रही थी. पैसा के दबाव के लिए कई बार गलत कार्रवाई भी कर दी है, जिसके लिए प्राथमिकी भी दर्ज करायी गयी है.