BPSC पेपर लीक मामले में प्राचार्य, बीडीओ सहित नौ पर आरोपपत्र दाखिल, अब तक 17 लोग हो चुके हैं गिरफ्तार
BPSC Paper Leak: बीपीएससी की 67वीं संयुक्त प्रारंभिक परीक्षा इस साल आठ मई को राज्य के कई केंद्रों पर आयोजित की गयी थी. परीक्षा आरंभ होने के पहले ही प्रश्नपत्र लीक हो गया. आयोग ने तत्काल परीक्षा को रद्द कर दिया था.
पटना. 67वीं बीपीएससी पीटी के पेपर लीक मामले में शुक्रवार को आरा के कुंवर सिंह कॉलेज के तत्कालीन प्राचार्य, बीडीओ समेत नौ लोगों के खिलाफ इओयू ने पटना के विशेष कोर्ट में आरोपपत्र दाखिल कर दिया.गिरफ्तार अन्य 17 अभियुक्तों के खिलाफ अनुसंधान जारी है. इओयू ने प्राथमिकी संख्या 20/2022 के तहत कुल 17 लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेजा था. इओयू ने आइपीसी की धारा 420, 467, 468, 201, 120बी, आइटी एक्ट की धारा 66 और बिहार परीक्षा अधिनियम के तहत आरा के कुंवर सिंह कॉलेज के तत्कालीन प्राचार्य योगेंद्र प्रसाद सिंह, प्रोफेसर सुशील कुमार सिंह, सहायक केंद्र अधीक्षक अगम कुमार सहाय, के बड़हरा के बीडीओ जयवर्धन गुप्ता, शिक्षक कृष्ण मोहन सिंह, कृषि विभाग के सहायक राजेश कुमार, सुधीर कुमार सिंह, निशिकांत कुमार राय व अमित कुमार सिंह को दोषी माना है.
अभी कुछ और गिरफ्तारियां होनी हैं!
सभी पर आरोप है कि साजिश कर अपने लोगों को लाभ पहुंचाने के लिए कागजात में जालसाजी कर जानबूझकर पेपर लीक किया. उच्च पदस्थ सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार इओयू इस हाइप्रोफाइल मामले में किसी भी तरह की चूक का जोखिम नहीं ले रही है. चार्जशीट में देरी होने पर आरोपित कोर्ट से राहत पा सकते थे. इस संभावना को खत्म करने के लिये पुख्ता सबूत के साथ जिन नौ आरोपितों पर आरोप साबित हो रहे हैं, उनके खिलाफ आरोपपत्र दाखिल कर दिया गया. कुछ और गिरफ्तारियां होनी हैं. नये अभियुक्तों की गिरफ्तारियां होने के बाद इओयू पूरक चार्जशीट दाखिल करेगी.
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की सूचना देने के लिए अपील
लीक हुआ था पेपर
बीपीएससी की 67वीं संयुक्त प्रारंभिक परीक्षा इस साल आठ मई को राज्य के कई केंद्रों पर आयोजित की गयी थी. परीक्षा आरंभ होने के पहले ही प्रश्नपत्र लीक हो गया. आयोग ने तत्काल परीक्षा को रद्द कर दिया था. इसके बाद स्थानीय स्तर पर मामला दर्ज किया गया था, जिसे बाद में आर्थिक अपराध इकाई को सौंप दिया गया था.