पटना. राज्य सरकार ने कोरोना जांच को लेकर बड़ी राहत दी है. राज्य के निजी लैबों में कोरोना की आरटीपीसीआर जांच कराने के लिए अब मात्र 800 रुपये लगेंगे. अभी 1500 रुपये देने पड़ रहे थे. साथ ही घर से सैंपल लेने के लिए पहले की तरह 300 रुपये अतिरिक्त लगेंगे.
वहीं, रैपिड एंटीजन किट से कोरोना जांच अब मात्र 250 रुपये में होगी. मंगलवार को स्वास्थ्य विभाग ने राज्य के निजी पैथोलॉजी संस्थानों में कोरोना की आरटीपीसीआर जांच की नयी दरें जारी कीं.
निर्धारित शुल्क से अधिक पैसा लेने पर निजी लैबों पर महामारी एक्ट के तहत कार्रवाई की होगी. मालूम हो कि सरकारी अस्पतालों में यह जांच फ्री है. राज्य में कोरोना का रिकवरी रेट दूसरे प्रदेशों से अधिक 97.11% है.
स्वास्थ्य विभाग ने कहा है कि आइसीएमआर ने कोराना जांच की अनुमति निजी लैबों को दी है. बिहार में भी निजी लैबों को 1500 रुपये की दर से कोरोना की आरटीपीसीआर विधि से जांच की अनुमति दी गयी थी. दूसरे राज्यों में शुल्क में कमी को देखते हुए बिहार में भी इसकी दर संशोधित करते हुए मात्र 800 रुपये कर दी गयी है.
स्वास्थ्य विभाग के आदेश में बताया गया है कि कोरोना मरीज के निवास स्थान से सैंपल लिये जाने के लिए पहले से निर्धारित 300 रुपये अतिरिक्त शुल्क में कोई बदलाव नहीं किया गया है. साथ ही रैपिड एंटीजन किट का वर्तमान मूल्य 150 रुपये से कम हो गया है.
ऐसे में रैपिड एंटीजन किट से कोरोना की जांच का शुल्क 250 रुपये तय किया गया है. निजी संस्थानों को जांच के बाद आइसीएमआर के पोर्टल पर रिपोर्ट दर्ज करना अनिवार्य होगा.
साथ ही जांच से संबंधित सूचना हर दिन शाम पांच बजे तक स्टेट सर्विलांस पदाधिकारी को इ-मेल पर अनिवार्य रूप से भेज देना होगा. इसका उल्लंघन करने पर िनजी लैबों पर कार्रवाई की जायेगी.
Posted by Ashish Jha