Bihar News: बिहार में ठगी के कई मामले सामने आए है. पटना में बदमाशों ने फेसबुक से अधिवक्ता से दोस्ती की और 50 हजार की ठगी की घटना को अंजाम दिया है. साइबर बदमाश रजनीश कुमार ने फेसबुक पर नेहरू नगर निवासी पटना उच्च न्यायालय के अधिवक्ता नीरज कुमार से दोस्ती की और चैटिंग कर विश्वास जमाया. इसके बाद यह बताया कि उनके एक सीआरपीएफ ऑफिसर संतोष कुमार का जम्मू में ट्रांसफर हो गया और वे घर के सामान फर्नीचर व इलेक्ट्रॉनिक्स को बेचना चाहते हैं. इसके बाद 50 हजार पर बात तय हुई और अधिवक्ता ने उन लोगों के कहने पर उतनी रकम उनके खाते में ट्रांसफर कर दिया. लेकिन उन्हें न तो सामान मिला और न ही रकम वापस हुई. ठगी का अहसास होने के बाद अधिवक्ता ने पाटलिपुत्र थाने में मामला दर्ज करा दिया है. पुलिस जांच में जुटी है.
जालसाजों ने पटना विश्वविद्यालय की रिटायर्ड महिला प्रोफेसर डॉ संपत्ति अरियाणी और स्टाफ चंदेश्वर साव के खाते से क्लोन चेक के माध्यम से आठ लाख रुपये की निकासी कर ली . इस संबंध में इंडियन बैंक पटना यूनिवर्सिटी शाखा के प्रबंधक शंकर कुमार झा ने पीरबहोर थाने में दिल्ली की दिलशाद नगर शाखा के खाता धारक वाजिद व आनंद विहार शाखा के खाता धारक असलम अली को आरोपित बनाया गया है. प्रोफेसर डॉ संपत्ति अरियाणी की 6.05 लाख रुपये वाजिद के और स्टाफ चंदेश्वर साव के 1.95 लाख रुपये असलम अली के खाते में रकम स्थानांतरित की गयी है.
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बताया जाता है कि वाजिद ने क्लोन चेक इंडियन बैंक के आनंद विहार ब्रांच में डाला और पैसा भी उसके दिलशाद नगर इंडियन बैंक में स्थानांतरित हो गया. जबकि चंदेश्वर साव के खाते का क्लोन चेक असलम अली ने इंडियन बैंक के दिलशाद नगर ब्रांच में भुगतान के लिए जमा किया और वाजिद के इंडियन बैंक के आनंद विहार ब्रांच में स्थानांतरित कर दिया गया. डॉ संपत्ति अरियाणी 95 साल की हो चुकी हैं और वह 35 साल पहले पटना विश्वविद्यालय से होम साइंस डिपार्टमेंट से रिटायर हुई थी. वह होम साइंस की एचओडी थी. इनके खाते से क्लोन चेक के माध्यम से वर्ष 2021 में ही निकासी की गयी. लेकिन इन्हें पता नहीं चला. हाल में जब इन्होंने अपने खाता को अपडेट कराया तो छह लाख कम थे. इसके बाद उन्होंने इंडियन बैंक प्रबंधन को मामले की जानकारी दी. चंदेश्वर साव के खाते से भी रकम की निकासी काफी पहले हुई और वह जब अपना खाता अपडेट कराने बैंक गये तो रकम निकासी की जानकारी मिली. इसके बाद ब्रांच प्रबंधक शंकर कुमार झा ने 17 अगस्त को पीरबहोर थाने में मामला दर्ज करा दिया.
पटना के पत्रकार नगर थाना क्षेत्र के पीसी सचिवालय कॉलोनी के रहने वाले व्यवसायी सूरज के खाते से शातिरों ने 1.1 लाख रुपये की निकासी कर ली . शातिर बैंक अधिकारी बनकर फोन किया और क्रेडिट कार्ड के फायदे बताने लगा. कई लुभावने ऑफर बताकर जरूरी जानकारी मांग ली और खाते से निकासी कर ली. इस बात की जानकारी तब हुई जब उन्होंने यूपीआइ के माध्यम से किसी को पैसा भेजने लगे. बैलेंस कम दिखा तो उन्होंने चेक किया. पता चला कि 1.1 लाख रुपये का ट्रांसफर किसी अन्य के खाते में हुआ है. इस संबंध में उन्होंने साइबर सेल में शिकायत दर्ज करवायी है.
मुजफ्फरपुर शहर में लोगों का एटीएम कार्ड बदल कर रुपये उड़ाने वाले तिवारी गिरोह के सरगना रत्नेश तिवारी को गिरफ्तार किया गया है. वह कांटी थाना क्षेत्र के कुशी हरपुर गांव का रहने वाला है. उसकी गिरफ्तारी नगर थाना क्षेत्र के सिकंदरपुर मोड़ स्थित एसबीआइ एटीएम के पास से की गयी है. पकड़े गये शातिर रत्नेश ने पूर्वी चंपारण जिले के राजेपुर थाना क्षेत्र के काशी पकड़ी निवासी अनिल कुमार का एटीएम कार्ड बदल लिया था. उसके शोर मचाने पर रत्नेश पकड़ा गया. वहीं, उसके चार साथी भीड़ का फायदा उठा कर मौके से भाग निकले. इस मामले में अनिल कुमार के बयान पर शनिवार को नगर थाने में प्राथमिकी दर्ज की गयी है. रत्नेश से पूछताछ करने के बाद पुलिस ने उसको कोर्ट में प्रस्तुत कर न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया. उसके गिरोह के फरार चार शातिर कांटी के पोखरैरा निवासी इंद्रजीत ओझा, अमन झा, अमन मिश्रा और सरैया के प्रकाश सिंह की गिरफ्तारी के लिए पुलिस उनके ठिकाने पर छापेमारी कर रही है. चारों शातिर अपने घर छोड़ कर फरार हैं.