संध्या वंदन में शामिल होता है मिर्जापुर मोहल्ला

मिर्जापुर पूजन स्थल पर छलक रही भक्तों की श्रद्धा दरभंगा : आधुनिकता की अंधी दौड़ में गुम होती जा रही आस्था के बीच मिर्जापुर के मुहल्लावासियों का भक्ति-भाव छलक रहा है. शहर के बीचों-बीच अवस्थित इस मुहल्ले में पूजा प्रधान है. हावी होते जा रहे प्रदर्शन का अभी तक यहां पूरा असर नहीं पड़ा है. […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 4, 2016 4:05 AM

मिर्जापुर पूजन स्थल पर छलक रही भक्तों की श्रद्धा

दरभंगा : आधुनिकता की अंधी दौड़ में गुम होती जा रही आस्था के बीच मिर्जापुर के मुहल्लावासियों का भक्ति-भाव छलक रहा है. शहर के बीचों-बीच अवस्थित इस मुहल्ले में पूजा प्रधान है. हावी होते जा रहे प्रदर्शन का अभी तक यहां पूरा असर नहीं पड़ा है.
मोहल्ला के श्रद्धालुओं ने विधि-विधानपूर्वक पूजन को प्रधानता दे रखी है. सुबह में मुहल्ले के प्राय: प्रत्येक परिवार से श्रद्धालु मां के दरबार में पूजा के लिए पहुंचते हैं. सुबह दुर्गा सप्तशती के पाठ के पश्चात जहां परंपरागत तरीके से आरती की जाती है, वहीं संध्याकाल इसका रूप वृहत हो जाता है. नवरत्न मंदिर परिसर में प्रतिवर्ष होने वाली इस पूजा में परंपरा का खास ख्याल रखा जाता है.
यह कड़ी इस वर्ष भी मजबूत नजर आ रही है. शाम ढलते ही पूजा पंडाल में भक्तों की भारी भीड़ जमा हो जाती है. कुंवारी कन्या से लेकर महिलाओं तक हाथ में पूजा की थाल लिये पूजन स्थल पर पहुंच जाती हैं. सांझ दिखाने के बाद संध्या वंदन आरंभ होता है.
जगदम्ब अहिं अवलंब हमर, हे माई अहां बिनु आस केकर, जय-जय भैरवि असुर भयाउनि सरीखे भगवती की विनती के मीठे बोल वातावरण में घुलने लगते हैं.
प्रख्यात शंख वादक विपीन कुमार मिश्र के नेतृत्व में गायन शुरू होता है. यह सिलसिला रात करीब दस बजे तक चलता रहता है. दुनियादारी से बेखबर श्रद्धालु इसमें डूब जाते हैं. महिलाओं की टोली जहां एक ओर विनती के भाव से खड़ी रहती हैं, वहीं पुरुष भक्तों की टोली दूसरी ओर मां की आराधना में लीन रहते हैं. यहां का पूजन प्रबंध प्रदर्शन की दौड़ लगा रहे पूजा समितियों के लिए अनुकरणीय है.

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