दरभंगा. उम्र के जिस पड़ाव पर अपनों के सहारे की सबसे अधिक जरूरत होती है, आमतौर पर उस समय वृद्धजनों को अपने ही बेसहारा छोड़ जाते हैं. ऐसे बेसहारा वृद्धों को सरकार सुरक्षित आश्रय प्रदान करेगी. वित्तीय, सामाजिक, स्वास्थ्य या अन्य कारणों से परिजनों की अनदेखी से राहत प्रदान करेगी. इसके लिए वृद्धाश्रम का निर्माण करेगी. सरकार के निर्देश पर वृद्धा आश्रम के प्रबंध की तैयारी निगम प्रशासन ने शुरू कर दी है. मुकम्मल व्यवस्था होते ही निराश्रित, बेसहारा, उपेक्षित व वरिष्ठ नागरिकों को आसरा प्रदान किया जायेगा. वृद्धजनों को गरिमापूर्ण जीवन यापन इस व्यवस्था का मूल उद्देश्य है. उल्लेखनीय है, सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर सरकार ने सात निश्चय-दो के तहत प्रदेश के सभी शहरी क्षेत्र में सीएम वृद्धजन आश्रय स्थल योजना को एक वर्ष पूर्व स्वीकृति दी थी. अब जाकर इसे धरातल पर उतारने की पहलकदमी तेज हुई है. इसके लिए नगर निगम ने 50 शैय्या वाला उपयुक्त भवन किराये पर लेने के लिए निविदा निकाला है. हालांकि 20 फरवरी 2018 को स्थायी समिति की बैठक में वृद्धा आश्रम के लिए जमीन के अभाव में कठिनाई का मुद्दा उठने पर लक्ष्मीसागर मोहल्ला में गैर मजरुआ आम गहबर स्थान की भूमि का प्रस्ताव रखा गया था. हालांकि यह मुद्दा बैठक तक ही सिमट कर रह गया. नगर प्रबंधक रवि अमरनाथ ने बताया कि वृद्धा आश्रम के लिये किराये पर भवन लेकर संचालन के लिए अभिरुचि की अभिव्यक्ति आमंत्रित की गयी है. किराया का निर्धारण अनुमंडल पदाधिकारी द्वारा किया जायेगा. नगर विकास एवं आवास विभाग की ओर से जारी आदेश के आलोक में सीएम वृद्धजन आश्रय स्थल योजना प्रदेश के सभी जरूरतमंद वरिष्ठ नागरिकों को लाभ मिलेगा. समस्या को समेकित रूप से समाधान कर उन्हें विभिन्न प्रकार की समयानुकूल आवश्यक सुविधा उपलब्ध करायी जायेगी. इसमें स्वास्थ्य, मनोरंजन, योग, आजीविका के लिये क्षमतावर्धन एवं अन्य क्रिया-कलाप में भागीदारी सुनिश्चित करने एवं गरिमापूर्ण जीवन प्रदान करना है. आश्रय स्थल 24 घंटे 365 दिन संचालित होगा. आश्रय लेने वाले लाभुकों को दिन में तीन बार नाश्ता, दोपहर व रात में गर्म पका हुआ भोजना परोसा जायेगा. सुबह और शाम चाय-नाश्ता मिलेगा. लाभार्थियों को प्रतिदिन औसतन 1700 कैलोरी व 50 ग्राम प्रोटीन युक्त खाद्य पदार्थ को गुणवत्ता एवं विविधता सुनिश्चित करते हुये प्रदान किया जायेगा. आवासित लाभार्थियों को वस्त्र एवं अन्य दैनिक उपयोग की वस्तुएं उपलब्ध करायी जायेगी. नये आसरा लेनेवालों को 24 घंटे के भीतर कपड़े और प्रसाधन की सामग्री उपलब्घ करायी जायेगी. प्रति यूनिट 50 बेड आश्रय स्थल संचालन के लिए अनावर्ती मद में प्रत्येक पांच वर्ष के लिए 42.97 लाख तथा आवर्ती मद में 63.38 लाख रुपये वार्षिक दर से व्यय की आवंटन राशि गत 18 जुलाई 2023 को स्वीकृति विभाग ने दी थी.
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