अमित शाह के सामने ऑनलाइन जलाया गया 1235 करोड़ का ड्रग्स, बिहार में हुआ था सबसे अधिक जब्त
कर्नाटक के बैंगलुरु में ड्रग्स के रोक थाम के मद्देनजर 24 मार्च को एक बैठक का आयोजन किया गया. बैठक की अध्यक्षता केंद्रीय मंत्री अमित शाह ने की. NCB द्वारा आयोजित इस ऑनलाइन बैठक में विभिन्न दक्षिणी राज्यों के मुख्यमंत्री और प्रतिनिधि मौजूद रहे.
पटना. कर्नाटक के बैंगलुरु में ड्रग्स के रोक थाम के मद्देनजर 24 मार्च को एक बैठक का आयोजन किया गया. बैठक की अध्यक्षता केंद्रीय मंत्री अमित शाह ने की. NCB द्वारा आयोजित इस ऑनलाइन बैठक में विभिन्न दक्षिणी राज्यों के मुख्यमंत्री और प्रतिनिधि मौजूद रहे. इस बैठक में दक्षिणी राज्यों में ड्रग्स के रोक थाम पर चर्चा की गई. मालूम हो कि दक्षिणी और तटीय राज्यों में ड्रग्स का जाल फैलता जा रहा है. बैठक में NCB डायरेक्टर जनरल एसएन प्रधान ने दक्षिणी राज्यों में बढ़ रहे ड्रग्स के तस्करी के बारे में विस्तार से चर्चा की.
जलाया गया 1235 करोड़ का 4577 किलो ड्रग्सबैठक की अध्यक्षता कर रहे अमित शाह ने ड्रग्स को नष्ट करने की प्रक्रिया का ऑनलाइन उद्घाटन किया. इस दौरान तक़रीबन 1235 करोड़ के ड्रग्स को नष्ट किया गया. नष्ट किए गए कुल ड्रग्स में से 50 फीसदी ड्रग्स अकेले NCB पटना ने जब्त किया था. जिसमें गांजा, चरस, कोडिन निर्मित कफ सिरफ इत्यादी शामिल था. केन्द्रीय मंत्री अमित शाह ने इस मौके पर NCB की सराहना की. साथ ही उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी के 2047 के ड्रग फ्री इंडिया के विज़न की याद दिलाते हुए ड्रग्स के लिए जीरो टोलेरेंस की बात कही.
NCB के डायरेक्टर जनरल एसएन प्रधान ने बैठक में ड्रग्स के बढ़ते चलन और इसके रोकथाम के ऊपर विशेष जोर दिया. उन्होंने वर्तमान स्थिति और इसके निवारण से संबंधित एक प्रेजेंटेशन प्रस्तुत किया. जिससे दक्षिणी राज्यों में ड्रग्स की स्थिति को स्पष्ट रूप से समझा जा सकता है. आगे बात करते हुए उन्होंने COVID के दौरान आई ड्रग्स की नई चुनौतियों की तरफ भी सबका ध्यान आकर्षित किया. IPS प्रधान ने पोस्ट/कूरियर के माध्यम से हो रहे ड्रग्स के व्यापार पर भी चर्चा की, साथ ही चिकित्सकीय दवाओं के गलत उपयोग पर भी प्रकाश डाला. इसके साथ ही ड्रग्स के व्यापार के लिए इस्तेमाल किए जा रहे डार्क वेब और डार्क नेट के अलावा क्रिप्टो करेंसी का भी जिक्र किया.
बैठक में इन मुद्दों पर हुई चर्चा1. NCORD का पुनर्गठन- विभिन्न केंद्रीय और राज्य स्तरीय एजेंसियों के बीच बेहतर समन्वय के लिए.
2. NCORD पोर्टल का विकास- सभी प्रकार के ड्रग्स से जुड़ी सूचनाओं के लिए एक पोर्टल विकसित करना.
3. NDPS विषयों पर एक उचित ट्रेनिंग मॉड्यूल विकसित करना.
4. NDPS कोर्ट जजमेंट को सारांश के रूप में प्रकाशित करना.
5. NDPS ऐक्ट 1985 के तहत सीमा सुरक्षा बलों (BSF, असम राइफल्स और एसएसबी) को सशक्त करना.
6. ड्रग्स के खिलाफ जागरूकता अभियान को बढ़ावा देना.
7.राज्य से जुड़े सभी प्रकार के ड्रग्स के मामलों के लिए राज्य स्तर पर एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स (ANTF) का गठन.
इस बैठक में मुख्य रूप से दक्षिणी राज्यों के मुख्य सचिव, एंटी नारकोटिक्स टास्कफोर्स के प्रमुख, दक्षिणी राज्यों के कई वरीय अधिकारी, आईबी, बीएसएफ, सीअरपीएफ, सीआईएसएफ, आईटीबीपी, एनआईए, आरपीएफ, ईडी, इंडियन तट रक्षक इत्यादि के मुख्य अधिकारियों ने हिस्सा लिया.