पटना हाइकोर्ट के फैसले के बाद राज्य निर्वाचन आयोग ने तत्काल प्रभाव से दोनों चरणों के चुनावी कार्यक्रम को स्थगित कर दिया है. अब आगे के कार्यक्रम को लेकर आयोग में मंथन चल रहा है. आयोग अब कोर्ट के फैसले के आलोक में चुनावी कार्यक्रम को लेकर विचार कर रहा है. आयोग नगरपालिका चुनाव को लेकर अगले सप्ताह ही किसी नतीजे पर पहुंचेगा. सूत्रों की मानें तो राज्य निर्वाचन आयोग की ओर से भावी चुनावी कार्यक्रम को लेकर एक-एक बिंदुओं पर विचार किया जा रहा है. अगला चुनावी कार्यक्रम क्या हो. साथ ही जिलों को क्या निर्देश दिया जाये. मतदान की तिथि क्या हो और नये सिरे से मतपत्र की छपाई करायी जाये.
नामांकन को लेकर कौन- सी प्रक्रिया अपनायी जाये. क्या ओबीसी सीटों पर नामांकन कराया जाये या सभी पदों पर एक बार फिर से नामांकन का कार्यक्रम निर्धारित किया जाये. पटना हाइकोर्ट ने नगरपालिका चुनाव पर रोक लगाने का निर्देश नहीं दिया है. उसकी आपत्ति सिर्फ ओबीसी सीट को लेकर है, जिसको आयोग ओपन सीट मान कर चुनाव करा सकता है. ऐसे में आयोग ओबीसी सीट पर अपनायी जाने वाली चुनावी प्रक्रिया पर भी मंथन कर रहा है. सभी पक्षों पर किसी ठोस नतीजे पर पहुंचने के बाद ही आयोग अगले सप्ताह कोई निर्णय लेगा. अभी आयोग के अंदर चुनाव को लेकर सरगर्मी बनी हुई है. हालांकि, इस पर कोई बात करने को तैयार नहीं है.
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नगरपालिका चुनाव को टाल देने के राज्य निर्वाचन आयोग के आदेश के खिलाफ शुक्रवार को पटना के गर्दनीबाग स्थित हड़ताली चौक पर दरभंगा से मेयर प्रत्याशी रही मधुबाला सिन्हा के समर्थकों ने धरना दिया. धरने पर बैठेलोगों ने कहा कि बिहार में नगर निकाय चुनाव पर राज्य निर्वाचन आयोग ने चार अक्तूबर की देर रात रोक लगा दी है. इसके साथ ही बिहार में होने वाला पहले चरण का मतदान, जो 10 अक्तूबर और दूसरा चरण 20 अक्तूबर को मतदान होना था, स्थगित कर दिया गया. इसकी अगली तिथि,सूचना बाद में देने की बात कही गयी. लेकिन, यह कब होगा नहीं बताया गया. मधुबाला सिन्हा ने बताया कि उन्होंने छह अक्तूबर को दरभंगा नगर निगम परिसर में धरना देते हुए राज्य निर्वाचन आयोग को इ- मेल किया. लेकिन, इसका कोई जवाब नहीं मिला.