बिहार के पूर्व डिप्टी सीएम और भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता सुशील मोदी का सोमवार की देर रात निधन हो गया है. वो लंबे वक्त से कैंसर की बीमारी से पीड़ित थे. नई दिल्ली के अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) में उनका इलाज चल रहा था. जहां इलाज के दौरान उनका निधन हो गया. लोकसभा चुनाव के दौरान उन्होंने अपनी इस बीमारी का खुलासा सोशल मीडिया पर खुलासा किया था. मंगलवार की सुबह पटना स्थित आवास पर उनका पार्थिव शरीर लाया जायेगा. सुशील मोदी के निधन के बाद बिहार के सियासी गलियारों में शोक की लहर दौर गई है.
सुशील मोदी ने सोशल मीडिया पर दी थी कैंसर होने की जानकारी
सुशील मोदी ने तीन अप्रैल को सोशल मीडिया एक्स पर जानकारी देते हुए लिखा था कि पिछले 6 माह से कैंसर से संघर्ष कर रहा हूं. अब लगा कि लोगों को बताने का समय आ गया है. लोक सभा चुनाव में कुछ कर नहीं पाऊंगा. पीएम को सब कुछ बता दिया है. देश, बिहार और पार्टी का सदा आभार और सदैव समर्पित.
सुशील मोदी ने जेपी आंदोलन से राजनीति में रखा था कदम
सुशील मोदी ने जेपी के छात्र आंदोलन से सक्रिय राजनीति में कदम रखा था. बाद में पटना मध्य से विधायक भागलपुर से सांसद तथा बाद में राज्यसभा के सदस्य हुए. 2010 में वे पहली बार नीतीश कुमार के साथ उप मुख्यमंत्री बने थे. इसके बाद 2005 के नवंबर में जब बिहार में एनडीए की सरकार बनी तो सुशील कुमार मोदी उप मुख्यमंत्री बनाये गये. वे लंबे समय तक राज्य के उप मुख्यमंत्री रहे. उनके निधन से भाजपा और राज्य को अपूरणीय क्षति हुई है.
विजय सिन्हा ने शोक संवेदना व्यक्त की
उपमुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा ने शोक व्यक्त करते हुए कहा कि सुशील मोदी जी अब हमारे बीच नहीं रहे. यह संपूर्ण भाजपा संगठनात्मक परिवार के साथ-साथ मेरे जैसे अनगिनत कार्यकर्ताओं के लिए एक अपूरणीय क्षति है. उन्हें उनके संगठनात्मक कौशल, प्रशासनिक समझ और सामाजिक-राजनीतिक विषयों पर उनके गहन ज्ञान के लिए हमेशा याद किया जाएगा. ईश्वर दिवंगत आत्मा को चिर शांति और परिवार को दुःख की इस घड़ी में शक्ति प्रदान करें.
गिरिराज सिंह ने जताया दुख
केंद्रीय मंत्री गिरिराज सिंह ने कहा कि हमारे परिवार के वरिष्ठ सदस्य सुशील मोदी जी का निधन हो गया है. यह हम सभी के लिए किसी बड़े सदमे से कम नहीं है. बिहार भाजपा और बिहार को आगे बढ़ाने में उनके योगदान को भाजपा और बिहार कभी नहीं भूलेगा. इस कठिन समय में उनके परिवार और उनको चाहने वालों के प्रति मेरी हार्दिक संवेदनाएं.
नंदकिशोर यादव ने प्रकट किया दुख
बिहार विधानसभा के अध्यक्ष नंदकिशोर यादव ने सुशील मोदी के निधन पर दुख प्रकट करते हुए कहा कि सुशील मोदी से उनका संबंध 1971 से था. एक दूसरे को 53 वर्षों से जानते थे. अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद में साथ काम किया. उनका व्यक्तित्व विलक्ष्ण था. इतने बड़े पदों पर रहते हुए कभी इसका अहसास नहीं कराया. सभी के लिए काम किया. बेहतर प्रबंधन कर उन्होंने सिद्ध किया कि विपरीत परिस्थितियों में भी राज्य को आगे बढ़ाया जा सकता है.
यह मेरे लिए व्यक्तिगत क्षति : नितिन नवीन
बिहार सरकार के मंत्री नितिन नवीन ने कहा है कि सुशील मोदी का निधन उनके लिए व्यक्तिगत क्षति है. उन्होंने कहा कि भाजपा को उन्होंने खड़ा किया. लालू के शासन से लड़ाई में कार्यकर्ता और नेता के रूप में संघर्ष किया. उपमुख्यमंत्री बनने के बाद कुशल प्रशासक की भूमिका भी बेहतर ढंग से निभायी. उन्होंने कहा कि राजनीति में उन्होंने जगह मेहनत से बनायी. कई लोग समीकरण से नेता बनते हैं. मगर, सुशील मोदी ने बिना समीकरण के अपनी उपस्थित बनाकर रखी. उन्होंने कहा कि किसी हर चीज पर उनकी पकड़ थी. राजनीति में लोग कम मेहनत करते हैं. मगर, वे आंकड़ों पर काम करने वाले लगातार अध्ययन करने वाले नेता थे.