बाढ़ थर्मल प्लांट की चौथी इकाई शुरू, बोले ऊर्जा मंत्री- दोगुना उत्पादन के बाद भी लोडशेडिंग दुर्भाग्यपूर्ण

बिजली की उत्पादन क्षमता कुल मांग 2.34 लाख मेगावाट के मुकाबले लगभग दोगुनी 4.21 लाख मेगावाट हो गयी है. अब ट्रांसमिशन के जरिये किसी भी वक्त देश के एक कोने से दूसरे कोने तक 1.12 लाख मेगावाट बिजली पहुंचायी जा सकती है. बावजूद लोडशेडिंग के चलते हंगामा होना दुर्भाग्यपूर्ण है.

By Ashish Jha | August 18, 2023 8:06 PM

पटना. केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आरके सिंह ने कहा कि 2014 से पहले देश में मांग के मुकाबले बिजली का उत्पादन 14 फीसदी कम था, मगर बीते नौ वर्षों में बिजली की उत्पादन क्षमता कुल मांग 2.34 लाख मेगावाट के मुकाबले लगभग दोगुनी 4.21 लाख मेगावाट हो गयी है. अब ट्रांसमिशन के जरिये किसी भी वक्त देश के एक कोने से दूसरे कोने तक 1.12 लाख मेगावाट बिजली पहुंचायी जा सकती है. बावजूद लोडशेडिंग के चलते हंगामा होना दुर्भाग्यपूर्ण है. जम्मू-कश्मीर के साथ ही बिहार देश के उन तीन राज्यों में शामिल है, जहां सबसे अधिक लोडशेडिंग हो रही है. यह नहीं होना चाहिए. वे शुक्रवार को पटना के एनटीपीसी के बाढ़ सुपर थर्मल पावर प्लांट के स्टेज वन की 660 मेगावाट की दूसरी व कुल चौथी इकाई का लोकार्पण कर रहे थे.

अकारण-अनायास लोडशेडिंग हो तो मुआवजा मांगें

बाढ़ एनटीपीसी परिसर में आयोजित समारोह में श्री सिंह ने कहा कि राज्यों ने केंद्र सरकार ने कानून बनाया है कि अकारण-अनायास लोडशेडिंग नहीं की जा सकती. राज्यों के साथ 24 घंटे निर्बाध बिजली आपूर्ति का एमओयू साइन किया गया है. बावजूद लोडशेडिंग होती है तो उपभोक्ता सीजीआरएफ (कंज्यूमर ग्रिवांस रिड्रेसल फोरम) में शिकायत करते हुए हमको भी कॉपी भेजें. बिजली कनेक्शन के लिए भी शहरों में एक हफ्ते और गांव में एक माह से अधिक नहीं लगना चाहिए. कोई भी गांव-टोला ऐसा नहीं बचा, जिसका विद्युतीकरण नहीं हुआ. अगर ऐसा है तो मुझे बताइए. उपभोक्ताओं को खुद अपने अधिकार के लिए खड़ा होना पड़ेगा.

बिहार में ही उत्पादित बिजली से पूरी हो रही बिहार की डिमांड

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि पावर की बढ़ती डिमांड दुनिया में सबसे तेजी से बढ़ रही भारतीय अर्थव्यवस्था की कहानी बताती है. पिछले साल की इस अवधि में 1.80 लाख मेगावाट की खपत थी, जो इस साल बढ़ कर 2.25 लाख मेगावाट हो गयी है. उन्होंने कहा कि 660 मेगावाट की इस नयी इकाई के चालू होने के बाद अब बिहार की कुल मांग 7000 मेगावाट से अधिक बिजली की आपूर्ति बिहार में ही उत्पादित बिजली से हो जायेगी. कार्यक्रम में बाढ़ विधायक ज्ञानेंद्र सिंह ज्ञानू, एनटीपीसी के सीएमडी गुरदीप सिंह, पावरग्रिड के सीएमडी के श्रीकांत, एनटीपीसी के निदेशक (एचआर), दिलीप कुमार पटेल, निदेशक (परियोजनाएं), उज्जवल कांति भट्टाचार्य, नॉर्थ बिहार पॉवर डिस्ट्रीब्यूशन के एमडी डॉ आदित्य प्रकाश सहित कई अधिकारी मौजूद रहे.

कजरा-पीरपैंती में बैट्री स्टोरेज क्षमता के साथ सौर ऊर्जा का होगा उत्पादन

इधर, पटना में ऊर्जा विभाग के प्रधान सचिव सह पावर होल्डिंग कंपनी के सीएमडी संजीव हंस ने कहा कि राज्य सरकार कजरा एवं पीरपैंती में बैट्री स्टोरेज क्षमता के साथ सौर ऊर्जा उत्पादन की व्यवस्था कर रही है. इसके साथ ही जल-जीवन-हरियाली मिशन के अंतर्गत प्रत्येक सरकारी भवन पर रूफटॉप सोलर पावर प्लांट एवं सभी वार्ड में दस सोलर लाइट लगाने का काम चल रहा है. बिहार एक गीगावॉट सोलर एनर्जी उत्पादन की ओर अग्रसर है. वे शुक्रवार को स्थानीय होटल में आयोजित सस्टेनेबल एनर्जी मैनेजमेंट कॉन्क्लेव को संबोधित कर रहे थे.

अब तक लगभग 18 लाख स्मार्ट मीटर इंस्टॉल

उन्होंने कहा कि बिजली आपूर्ति कंपनियां अब सभी सरकारी विभाग को हर महीने बिजली बिल भेजती हैं ताकि वे बिजली की बर्बादी को नियंत्रित कर सकें. साथ ही किसानों को रात की बजाय दिन में ही खेती करने के लिए प्रेरित किया जा रहा है. सीएमडी ने कहा कि बिहार स्मार्ट प्रीपेड मीटर इंस्टालेशन के क्षेत्र में देश में अव्वल है. राज्य में अब तक लगभग 18 लाख स्मार्ट मीटर इंस्टॉल किये जा चुके हैं. हमने ग्रामीण क्षेत्रों में भी स्मार्ट मीटर लगाने की शुरुआत कर दी है. बिजली औसत हानि भी पिछले 11 वर्षों में 53 प्रतिशत से घट कर 23 प्रतिशत पर आ गयी है.

बिहार के विद्युत उपभोक्ताओं की संख्या 1.89 करोड़

साउथ बिहार पावर डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी लिमिटेड के एमडी महेंद्र कुमार ने कहा कि 2006 में बिहार के विद्युत उपभोक्ताओं की संख्या 17.3 लाख थी जो 2023 में बढ़कर 1.89 करोड़ हो गयी है. हर घर बिजली योजना के अंतर्गत हमने शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में 100 प्रतिशत घरों को विद्युतीकृत कर दिया है. अभी राज्य में कुल 140 ग्रिड सब स्टेशन एवं 1200 पावर सब स्टेशन हैं, जिसके माध्यम से हम अपने उपभोक्ताओं को निर्बाध बिजली पहुंचाने में सफल हो पा रहे हैं. उन्होंने बताया कि दरभंगा में फ्लोटिंग सोलर पावर प्लांट के माध्यम से सोलर एनर्जी उत्पादित की जा रही है. इसके साथ ही छोटे व बड़े तालाबों में भी फ्लोटिंग सोलर पावर प्लांट लगाने की योजना है. मौके पर बिजली आपूर्ति कंपनियों के कई अधिकारी मौजूद रहे.

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