भूमि विवाद प्रशासन के लिए एक चुनौती

गया. वैसी बची जमीन जो सुस्पष्ट है, उसका गजट से मिलान कर लें. कितनी जमीन बांटने के लिए बची है, उस पर कार्रवाई करें. बेकार बतायी जा रही जमीन का भौतिक सत्यापन कराना जरूरी है. ये निर्देश प्रमंडलीय आयुक्त आरके खंडेलवाल ने दिया. आयुक्त कार्यालय कक्ष में शुक्रवार की शाम अपर समाहर्ता की बैठक में […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 23, 2014 8:22 AM

गया. वैसी बची जमीन जो सुस्पष्ट है, उसका गजट से मिलान कर लें. कितनी जमीन बांटने के लिए बची है, उस पर कार्रवाई करें. बेकार बतायी जा रही जमीन का भौतिक सत्यापन कराना जरूरी है. ये निर्देश प्रमंडलीय आयुक्त आरके खंडेलवाल ने दिया.

आयुक्त कार्यालय कक्ष में शुक्रवार की शाम अपर समाहर्ता की बैठक में आयुक्त ने कहा कि भूमि विवाद के निबटारे में देरी होने से कई समस्याएं उत्पन्न हो रही हैं.

यह प्रशासन के लिए चुनौती साबित हो रही है. आयुक्त ने कहा कि कार्ययोजना बना गजट से सत्यापित कर काम में तेजी लायें. उन्होंने कहा कि जो जमीन बांटी गयी है, उनकी भी जांच कर लें. विभिन्न अदालतों में लंबित केसों की समीक्षा के दौरान आयुक्त ने कहा कि न्यायालय में जाने से पहले टीम गठित कर पुराने मामले के दस्तावेज का भलीभांति अध्ययन कर लें. आयुक्त ने कहा कि मोटी फाइलें देख कर घबरायें नहीं. अध्ययन से तथ्य सामने आते हैं. उन्होंने अधिकारियों से चेतावनी दी कि अगली बैठक में कामों में प्रगति नहीं हुई, तो इसे उनके वार्षिक अभियुक्ति में दर्ज कर दी जायेगी.

Next Article

Exit mobile version