नकली दवा बेचनेवालों की सदस्यता रद्द

गया जिला दवा विक्रेता संघ ने बैठक में लिये कई फैसले गया : गया जिला दवा विक्रेता संघ की आपात बैठक गुरुवार की देर रात वर्णवाल धर्मशाला में हुई, जिसमें दवा मंडी में सोमवार व मंगलवार को हुई छापेमारी की समीक्षा की गयी. दहशत के साये में हुई छापेमारी की सभी सदस्यों ने निंदा की. […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | June 27, 2015 8:52 AM
गया जिला दवा विक्रेता संघ ने बैठक में लिये कई फैसले
गया : गया जिला दवा विक्रेता संघ की आपात बैठक गुरुवार की देर रात वर्णवाल धर्मशाला में हुई, जिसमें दवा मंडी में सोमवार व मंगलवार को हुई छापेमारी की समीक्षा की गयी. दहशत के साये में हुई छापेमारी की सभी सदस्यों ने निंदा की.
बैठक में कहा गया कि कुछेक दवा व्यवसायियों के काले कारनामे के कारण पूरी दवा मंडी की बदनामी हुई है. सर्वसम्मति से निर्णय लेकर नकली दवा बेचनेवाले सभी 12 लाइसेंसी दवा व्यवसायियों की सदस्यता रद्द कर दी गयी. अब ये दुकानदार संघ के प्राथमिक सदस्य नहीं होंगे. सदस्यों ने कहा कि दवा व्यवसायी कोई गड़बड़ी नहीं करें, इसके लिए छापेमारी जरूरी है. लेकिन, छापेमारी के दौरान भारी संख्या में पुलिस बल तैनात किया जाना निंदनीय है. ऐसा करने से व्यवसायी दहशत में आ जाते हैं.
व्यवसायी सहयोग करने के बजाय डर कर दुकानें बंद कर देते हैं, जिससे जांच में भी असुविधा होती है. वहीं, आम लोगों को भी कठिनाई होती है. इस घटना से ड्रग आयुक्त को अवगत कराया जायेगा. बैठक में निर्णय लिया गया कि संघ का प्रतिनिधिमंडल मिल कर डीएम से यह जानने की कोशिश करेगा कि मुस्तफा एजेंसी क्या है? इसे कौन-कौन-सा अधिकार प्राप्त है. दवा व्यवसायियों के प्रति उसका क्या कर्तव्य है? उसके आय का स्नेत क्या है? वार्षिक आय क्या है? बैठक में संघ के अध्यक्ष गणोश कुमार व सचिव रवि कुमार उर्फ गुड्डू समेत बड़ी संख्या में दवा व्यवसायी उपस्थित थे.

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