शहर में फिर गहराया बिजली संकट

गया: भीषण गरमी में बिजली संकट से शहरवासी परेशान हैं. आलम यह है कि बिजली की कम आपूर्ति व भीषण गरमी के कारण लोगों को जाग रात गुजारनी पड़ रही है. विद्युत आपूर्ति प्रमंडल, गया शहर के अधिकारियों के अनुसार शहर में नियमित रूप से बिजली आपूर्ति के लिए न्यूनतम 60 मेगावाट बिजली की आवश्यकता […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 16, 2013 1:36 PM

गया: भीषण गरमी में बिजली संकट से शहरवासी परेशान हैं. आलम यह है कि बिजली की कम आपूर्ति व भीषण गरमी के कारण लोगों को जाग रात गुजारनी पड़ रही है. विद्युत आपूर्ति प्रमंडल, गया शहर के अधिकारियों के अनुसार शहर में नियमित रूप से बिजली आपूर्ति के लिए न्यूनतम 60 मेगावाट बिजली की आवश्यकता है, लेकिन सीएलडी से महज 25-30 मेगावाट बिजली की ही आपूर्ति की जा रही है. यदि मुख्यमंत्री की तीन दिनों की सेवा यात्रा को छोड़ दें, तो संबंधित अधिकारियों को भी शायद ही याद हो कि 60 मेगावाट बिजली गया को कब मिली है?

विद्युत आपूर्ति प्रमंडल, गया शहर के कार्यपालक अभियंता विनोद प्रजापति ने बताया कि कम (60 की जगह 30 मेगावाट) बिजली मिलने के कारण कारण अक्सर रोस्टर के अनुसार ही शहर के विभिन्न इलाके में बिजली की आपूर्ति की जाती रही है. पावर हमेशा बढ़ते-घटते रहता है. इस स्थिति में पारदर्शी रोस्टर बनाना संभव नहीं है. लोकल फॉल्ट व तकनीकी गड़बड़ी के कारण भी रोस्टर पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है. ऐसे में बिजली कब आयेगी, या कब जायेगी इस बात की कभी गारंटी नहीं दी जा सकती. इसी प्रकार बिजली कब गुल हो जायेगी कहा नहीं जा सकता.

बिजली की कमी के कारण उपभोक्ताओं को घंटों बिजली का इंतजार करना पड़ता है. एसी, कूलर, पंखा व रेफ्रिजेटर सब के सब बेकार साबित हो रहे हैं. इस परिस्थिति से उबरने का कोई तरकीब संबंधित अधिकारियों के पास नहीं है. केवल सीएलडी से बिजली कम मिलने का बहाना बना कर अपना पल्लू झाड़ ले रहे हैं. ऐसे में उपभोक्ताओं का यह कहना है कि मुख्यमंत्री के आने पर बिजली कहां से आ जाती है?

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